Close Menu
Azad SipahiAzad Sipahi
    Facebook X (Twitter) YouTube WhatsApp
    Friday, May 9
    • Jharkhand Top News
    • Azad Sipahi Digital
    • रांची
    • हाई-टेक्नो
      • विज्ञान
      • गैजेट्स
      • मोबाइल
      • ऑटोमुविट
    • राज्य
      • झारखंड
      • बिहार
      • उत्तर प्रदेश
    • रोचक पोस्ट
    • स्पेशल रिपोर्ट
    • e-Paper
    • Top Story
    • DMCA
    Facebook X (Twitter) Instagram
    Azad SipahiAzad Sipahi
    • होम
    • झारखंड
      • कोडरमा
      • खलारी
      • खूंटी
      • गढ़वा
      • गिरिडीह
      • गुमला
      • गोड्डा
      • चतरा
      • चाईबासा
      • जमशेदपुर
      • जामताड़ा
      • दुमका
      • देवघर
      • धनबाद
      • पलामू
      • पाकुर
      • बोकारो
      • रांची
      • रामगढ़
      • लातेहार
      • लोहरदगा
      • सरायकेला-खरसावाँ
      • साहिबगंज
      • सिमडेगा
      • हजारीबाग
    • विशेष
    • बिहार
    • उत्तर प्रदेश
    • देश
    • दुनिया
    • राजनीति
    • राज्य
      • मध्य प्रदेश
    • स्पोर्ट्स
      • हॉकी
      • क्रिकेट
      • टेनिस
      • फुटबॉल
      • अन्य खेल
    • YouTube
    • ई-पेपर
    Azad SipahiAzad Sipahi
    Home»झारखंड»रांची»बजट राशि का होगा समुचित उपयोग
    रांची

    बजट राशि का होगा समुचित उपयोग

    आजाद सिपाहीBy आजाद सिपाहीMay 11, 2017No Comments3 Mins Read
    Facebook Twitter WhatsApp Telegram Pinterest LinkedIn Tumblr Email
    Share
    Facebook Twitter WhatsApp Telegram LinkedIn Pinterest Email

    रांची: राज्य में अब वित्त वर्ष की शुरुआत अप्रैल महीने से न होकर जनवरी से होगी, इसके पीछे एक बड़ा कारण है। एक तो इसके पीछे इस अंग्रेजी व्यवस्था से निजात पानी है, तो दूसरा ग्रॉस डोमेस्टिक प्रोडक्ट का सही कैलकुलेशन (घरेलू उत्पादन का सही आकलन) कर पाना है। साथ ही इस व्यवस्था से बजट की राशि का समुचित खर्च हो पायेगा। हालांकि इसकी शुरुआत अगले साल से होनी है, लेकिन मुख्यमंत्री रघुवर दास ने सभी विभागों को स्पष्ट रूप से कह दिया है कि दिसंबर तक हर हाल में अपने अपने बजट की राशि खर्च कर लें। मतलब यह कि इस साल 12 महीने की जगह नौ महीने में ही बजट का सारा पैसा खर्च करना होगा। यही नहीं, इसी अवधि में रेवेन्यू कलेक्शन भी करना होगा, जो अपने आपमें एक टफ टास्क होगा।

    मार्च में ही बजट पेश हो ऐसा कोई स्थापित नियम नहीं
    दरअसल, सालाना बजट मार्च महीने में पेश हो और फाइनेंशियल इयर 1 अप्रैल से शुरू हो, इसका कोई स्थापित नियम नहीं है। अलग-अलग देशों में अलग-अलग व्यवस्था है। सभी विकसित देश अपने हिसाब से तय करते हैं, जैसे अमेरिका में फाइनेंशियल इयर सितंबर से अगस्त है।

    अंग्रेजों के शासनकाल से चल रही थी व्यवस्था
    भारत अंग्रेजों का उपनिवेश था और उस समय इंग्लैंड में बजट पेश होता था। वहां फाइनेंशियल इयर अप्रैल में शुरू होता था, तो वर्षों से अभी तक वही परंपरा चली आ रही थी। हालांकि इसे बदलने के लिए भी कई बार आवाज उठी लेकिन कदम आगे नहीं बढ़ा। केंद्र में नरेंद्र मोदी की सरकार में इसे बल मिला।

    अप्रैल से शुरू होनेवाले फाइनेंशियल इयर का सबसे बड़ा ड्रा बैक यह था कि दो तिमाही मतलब, लगभग छह महीना नॉन परफोर्मिंग जैसा होता था। अप्रैल से शुरू होने की वजह से स्कीम की डिटेल्ड प्रोजेक्ट रिपोर्ट बनाने जैसी प्रक्रिया में दो माह बीत जाता है। इसके बाद जून महीने से लेकर सितंबर तक बारिश का मौसम रहता है। ऐसे में खुले में होनेवाले काम या योजना पूरी नहीं हो पाती थी। इससे वहां से शुरू का दो क्वार्टर नॉन परफोर्मिंग माना जाता था। इसका असर यह भी पड़ता था कि बाकी की दो तिमाही में खर्च और राजस्व संग्रह पर काफी जोर होता था। यही वजह है कि ट्रेडिशन सिस्टम में फरवरी और मार्च के महीने में बजट का एक बड़ा हिस्सा खर्च होता आया है।
    झारखंड में अब नया वित्तीय वर्ष जनवरी से
    दिसंबर में पेश होगा बजट
    बता दें कि झारखंड का इस वित्त वर्ष में लगभग 63 हजार करोड़ का बजट है, जिसका लगभग पांच से आठ प्रतिशत पैसा अलग-अलग विभागों द्वारा एक महीने में खर्च किया जा चुका है।

    Share. Facebook Twitter WhatsApp Telegram Pinterest LinkedIn Tumblr Email
    Previous Articleपीएलएएफआइ का इनामी नक्सली गिरफ्तार
    Next Article प्यार में मिली मौत प्रेमी बना हत्यारा
    आजाद सिपाही
    • Website
    • Facebook

    Related Posts

    डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी विश्वविद्यालय का नाम बदलना दुर्भाग्यपूर्ण: बाबूलाल मरांडी

    May 9, 2025

    बूटी मोड़ में मिलिट्री इंटेलिजेंस और झारखंड एटीएस का छापा, नकली सेना की वर्दी बरामद

    May 9, 2025

    रांची एयरपोर्ट और रेलवे स्टेशन पर बरती जा रही विशेष सतर्कता

    May 9, 2025
    Add A Comment

    Comments are closed.

    Recent Posts
    • डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी विश्वविद्यालय का नाम बदलना दुर्भाग्यपूर्ण: बाबूलाल मरांडी
    • बूटी मोड़ में मिलिट्री इंटेलिजेंस और झारखंड एटीएस का छापा, नकली सेना की वर्दी बरामद
    • कर्नल सोफिया ने बताया- तुर्की के ड्रोन से पाकिस्तान ने किया हमला, भारतीय सेना ने मंसूबों को किया नाकाम
    • गृह मंत्रालय ने राज्यों को आपातकालीन शक्तियों का इस्तेमाल करने का निर्देश दिया
    • मप्र में सरकारी कर्मचारियों की छुट्टियों पर रोक, मुख्यमंत्री ने बुलाई उच्च स्तरीय बैठक
    Read ePaper

    City Edition

    Follow up on twitter
    Tweets by azad_sipahi
    Facebook X (Twitter) Instagram Pinterest
    © 2025 AzadSipahi. Designed by Microvalley Infotech Pvt Ltd.

    Type above and press Enter to search. Press Esc to cancel.

    Go to mobile version