विदेश मंत्री एस जयशंकर ने सोमवार को केन्या के राष्ट्रपति केन्यत्ता से शिष्टाचार मुलाकात की तथा उन्हें प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का एक पत्र सौंपा। जयशंकर ने मुलाकात के बाद एक ट्वीट में कहा कि भारत और केन्या के संबंध विकासशील देशों के बीच सहयोग का सफल उदाहरण हैं। उन्होंने कहा कि केन्या की विकास यात्रा में सहयोग करने के लिए भारत तत्पर है।
विदेश मंत्री ने केन्या के राष्ट्रपति को भरोसा दिलाया कि भारत और केन्या के बीच लोगों के लोगों से संपर्क तथा व्यापार-उद्योग सहयोग की दिशा में भारत सक्रिय प्रयास करेगा। उन्होंने कहा कि हिंद महासागर क्षेत्र में भारत और केन्या के बीच रक्षा साझेदारी महत्वपूर्ण योगदान कर रही है। उन्होंने विपक्षी रक्षा सहयोग को और बढ़ाने की इच्छा जताई । जयशंकर ने कोरोना महामारी से निपटने में केन्या को हर संभव सहयोग का आश्वासन भी दिया।
विदेश मंत्री ने कहा कि बहुध्रुवीय विश्व की स्थापना के लिए अफ्रीका के देशों का विकास बहुत जरूरी है। भारत किन देशों के साथ साझेदारी कर विकास गतिविधियों को बढ़ाने और क्षमता निर्माण के लिए प्रयासरत है। जयशंकर केन्या के विदेश मंत्री रेशेले ओमामो के साथ द्विपक्षीय संयुक्त आयोग की सह अध्यक्षता की। दोनों नेताओं ने कहा कि भारत और चीन के संबंधों में बहु आयामी और सर्वांगीण विकास हो रहा है।
विदेश मंत्री ने नेहरू विश्वविद्यालय में नए साज-सज्जा वाले महात्मा गांधी पुस्तकालय का उद्घाटन भी किया। उन्होंने कहा कि महात्मा गांधी की स्मृति में बना यह पुस्तकालय भारत और केन्या तथा विकासशील देशों के बीच सहयोग की निशानदेही कराता है।