नई दिल्ली। केंद्रीय पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने कहा कि देश में 45 करोड़ टन सालाना रिफाइनरी क्षमता हासिल करने के लिए छोटे आकार की पेट्रोलियम रिफाइनरी लगाने पर विचार किया जा रहा है। फिलहाल देश में रिफाइनिंग क्षमता 25.2 करोड़ टन सालाना है।

हरदीप सिंह पुरी ने मंगलवार को यहां उद्योग मंडल इंडो-अमेरिकन चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री के तत्वावधान में आयोजित ऊर्जा सम्मेलन को संबोधित करने के बाद पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे। उन्होंने कहा कि छोटी रिफाइनरियों के लिए चीजें आसान होती हैं। इसमें जमीन अधिग्रहण समेत अन्य बाधाएं नहीं होती। बड़े आकार की रिफाइनरी लगाना महंगा सौदा बन गया है। इसलिए हम प्रतिवर्ष दो करोड़ टन तक सालाना क्षमता वाली रिफाइनरियों पर गौर कर रहे हैं।

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि हमें 45 करोड़ टन सालाना क्षमता का लक्ष्य हासिल करने के लिए छोटे आकार की रिफाइनरियों के साथ कुछ और नीतिगत निर्णय लेने की जरूरत है। भारत आने वाले समय में ऊर्जा का केंद्र होगा। इसके लिए पर्यावरण अनुकूल दिशा में आगे बढ़ रहे हैं। हमें ऐसी रिफाइनरियों की जरूरत है, जो पेट्रोरसायन, हरित हाइड्रोजन आदि बनाएं।

पुरी ने जैव ईंधन के पेट्रोल, डीजल और विमान ईंधन में मिश्रण के बारे में जानकारी देते हुए कहा कि हर प्रकार के प्रयोग हो रहे हैं। ऐसा नहीं है कि यह सब प्रयोगशालाओं में हो रहा है, बल्कि ये बाजार में हो रहा है। पेट्रोलियम मंत्री ने एक फीसदी जैव ईंधन, विमान ईंधन में मिलाए जाने का उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि इससे कृषि क्षेत्र में सकारात्मक बदलाव आएगा।

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