लखनऊ । मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अंग्रेजी हुकूमत के खिलाफ जनजातीय समुदाय को एकजुट करने वाले धरती आबा भगवान बिरसा मुंडा की जयंती पर शुभकामनाएं दी। मुख्यमंत्री ने कहा कि भगवान बिरसा मुंडा की चरणरज से पावन हुई धरा, विविध लोक परंपराओं की जन्मस्थली, अपनी कर्मठता, जीवटता व साहस के लिए विश्व प्रसिद्ध झारखंड राज्य के स्थापना दिवस की सभी झारखंड वासियों को हार्दिक शुभकामनाएं। उन्होंने कहा है कि मातृभूमि की स्वतंत्रता के लिए जनजातीय समाज को अंग्रेजों के विरुद्ध एकजुट करते हुए कठोर संघर्ष करने वाले जननायक, महान क्रांतिकारी, ‘जल-जंगल-जमीन’ की रक्षा के लिए बुलंद आवाज रहे ‘धरती आबा‘ भगवान बिरसा मुंडा की जयंती पर विनम्र श्रद्धांजलि। झारखंड राज्य समृद्धि एवं खुशहाली के मार्ग पर सदा गतिमान रहे।

भगवान बिरसा मुण्डा के बारे में जानिए

भगवान बिरसा मुण्डा का जन्म 15 नवम्बर 1875 के दशक में छोटा किसान के गरीब परिवार में हुआ था। मुण्डा एक जनजातीय समूह है। भगवान बिरसा छोटा नागपुर पठार (झारखण्ड) निवासी थे। बिरसा को 1900 में आदिवासी लोंगों को संगठित करते देखकर ब्रिटिश सरकार नेे गिरफ्तार कर लिया और उन्हें दो साल की सजा दी थी। आदिवासी स्वतंत्रता सेनानी बिरसा मुण्डा को सम्मानित करने के लिए 15 नवंबर को जनजातीय गौरव दिवस के रूप में भी मनाया जाता है। 1875 में जन्मे बिरसा मुण्डा ने बंगाल प्रेसीडेंसी में अंग्रेजी हुकूमत और धर्मांतरण गतिविधियों के खिलाफ एक विद्रोही आंदोलन का नेतृत्व किया था। मौजूदा झारखंड राज्य के खूंटी, तामार, सरवाड़ा और बंदगांव क्षेत्रों में बिरसा मुंडा के विद्रोह ने पारंपरिक आदिवासी संस्कृति के पुनरुद्धार में बड़ा योगदान दिया था। महज 25 वर्ष की उम्र में उनका निधन हो गया था।

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