दो से तीन दिन के अंदर पूरे मामले का हो सकता है खुलासा
अजय शर्मा
रांची। बड़कागांव स्थित त्रिवेणी कोल कंपनी के एजीएम गोपाल सिंह की हत्या की गुत्थी अभी नहीं सुलझी है। पुलिस का दावा है कि हत्या के तार तिरुअनंतपुरम से जुड़े हैं। जरूरत पड़ने पर पुलिस वहां भी जायेगी। पुलिस को फिलहाल उस शूटर की तलाश है, जिसने गोपाल सिंह को नजदीक से गोली मार दी थी। चार दिसंबर को गोपाल सिंह अपने सभी सुरक्षा कर्मियों और बुलेटप्रूफ वाहन छोड़कर जुलू पार्क में एक 28 साल की महिला से मिलने गये थे। मिलकर जब लौट रहे थे तो शूटर ने गोली मार दी थी। शूटर की उम्र करीब 30 वर्ष है। पुलिस का दावा है कि शूटर को इस हत्याकांड को अंजाम देने के लिए मोटी रकम दी गयी थी। अब तक जो कहानी छनकर सामने आयी है, अगर उस पर भरोसा करें तो पूरा प्लान त्रिवेणी कंपनी में ही काम करने वाले एक कर्मचारी ने तिरुपति में बैठकर बनाया था। उसी कर्मचारी की पत्नी से गोपाल सिंह मिलने गये थे। पहले वह कर्मचारी बड़कागांव में ही पोस्टेड था। उसका तबादला तिरुपति करा दिया गया था। बताया जाता है कि गोपाल सिंह कंपनी के बड़े अधिकारी थे। उनके निर्णय पर कभी सवाल नहीं खड़ा किया गया।
उस तबादले में भी उनका हाथ हो सकता है। महिला हजारीबाग के एक नामी होटल में रिसेप्सनिस्ट है। गोपाल सिंह कई बार उससे मिलने गये थे। महिला ने हर बार गोपाल सिंह के बारे में अपने पति को जानकारी दी थी। गोपाल सिंह ने महिला को भरोसा दिया था कि जल्द ही वह उसके पति का तबादला बड़कागांव करा देंगे। हजारीबाग पुलिस इस बिंदु के अलावा दूसरे पहलुओं पर भी जांच कर रही है। गोपाल सिंह को किसने धमकी दी थी, यह पता लगाया जा रहा है। गोपाल के मोबाइल नंबर के कॉल डिटेल्स निकाल लिये गये हैं और उस आधार पर भी हत्याकांड की गुत्थी सुलझाने की कोशिश पुलिस कर रही है। गोपाल सिंह ही बड़कागांव में यह तय करते थे कि कंपनी में किसको नौकरी दी जाये और किसे नहीं। पुलिस इस बिंदु पर जांच कर रही है कि हो सकता है कोई उनकी रेकी कर रहा हो और फिर उनकी हत्या कर दी।