कोलकाता। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने पश्चिम बंगाल के रानीडांगा में सिलीगुड़ी फ्रंटियर मुख्यालय में आयोजित सशस्त्र सीमा बल (एसएसबी) के 61वें स्थापना दिवस समारोह में भाग लिया। इस मौके पर उन्होंने एसएसबी के कार्यों की सराहना करते हुए कहा कि यह बल नेपाल और भूटान के साथ भारत की सीमाओं को सुरक्षित रखने में अहम भूमिका निभा रहा है। उन्होंने कहा कि एसएसबी ने न केवल सीमाओं की सुरक्षा सुनिश्चित की है, बल्कि बिहार, झारखंड और छत्तीसगढ़ जैसे राज्यों में नक्सलवाद के खतरों को भी कमजोर किया है। उन्होंने कहा कि भारत की 2450 किलोमीटर की अंतरराष्ट्रीय सीमा की सुरक्षा सशस्त्र सीमा बल द्वारा की जाती है। इन जवानों के होने से कोई चिंता नहीं है।
केंद्रीय गृह मंत्री शाह ने कहा कि सिलीगुड़ी गलियारे और पूर्वोत्तर क्षेत्र में एसएसबी की सतर्कता ने लोगों में सुरक्षा की भावना को मजबूत किया है। उन्होंने बल के नक्सलवाद विरोधी अभियानों को सराहा और कहा कि एसएसबी ने अन्य सुरक्षा एजेंसियों और स्थानीय पुलिस के साथ मिलकर छत्तीसगढ़ में नक्सलवाद को कमजोर करने में बड़ी सफलता हासिल की है। उन्हाेंने बल के जवानों से कहा कि सीमा क्षेत्रों में राष्ट्र विरोधी गतिविधियों पर अंकुश लगाकर ऐसे मामलों को कानून प्रवर्तन एजेंसियों को सौंपा जाए। उन्होंने इसे राष्ट्रीय सुरक्षा के प्रति प्रतिबद्धता का दिन बताया और कहा कि एसएसबी ने अवैध गतिविधियों को रोकने और राष्ट्रीय हितों को प्राथमिकता देने का अनुकरणीय काम किया है।
संस्कृति और विरासत को जोड़ने की पहल-शाह ने एसएसबी की उस पहल की भी प्रशंसा की, जिसमें सीमावर्ती गांवों की संस्कृति, भाषा और विरासत को देश की मुख्यधारा से जोड़ा गया है। उन्होंने कहा कि यह प्रयास सीमावर्ती समुदायों और राष्ट्र के बीच गहरे संबंधों को मजबूत करता है।
उल्लेखनीय है कि लोकसभा चुनाव के बाद गृह मंत्री का यह दूसरा बंगाल दौरा है, जिसमें उन्होंने एसएसबी के कार्यों की सराहना कर उनकी जिम्मेदारी और योगदान को राष्ट्रीय स्तर पर सराहा। अमित शाह गुरुवार रात को ही सिलीगुड़ी पहुंचे हैं। उनके दौरे को लेकर उत्तर बंगाल में सुरक्षा की व्यापक पैमाने पर व्यवस्था की गई है।