आजाद सिपाही संवाददाता
रांची। साहेबगंज के दाहू यादव की तलाश में झारखंड पुलिस लगी है। यहां तक कि उसके घर की कुर्की जब्ती भी पिछले दिनों की है। पूर्व सीएम बाबूलाल मरांडी ने राज्य सरकार और पुलिस को उसके ठिकाने के बारे में बताया है। ट्वीट् के जरिये सीएम हेमंत सोरेन से कहा है कि इडी (प्रवर्तन निदेशालय इडी) केस का अभियुक्त और साहिबगंज का अपराधी दाहू यादव अभी दलाही पहाड़ के दलाही बस्ती में अपने गैंग के लोगों को बुलाकर मीटिंग कर रहा है। सरकार और पुलिस को वह महीनों से ढूंढे नहीं मिल रहा है।
उसके नहीं पकड़े जाने का कारण यह है कि दाहू यादव के चांदी के चमचमाते जूते की चोट से वहां की पुलिस वालों के हाथ बंधे हुए हैं। सत्ता का संरक्षण है सो अलग। दो दिनों पहले दाहू के यहां कुर्की जब्ती की नौटंकी वाली खबर पर तो आपकी नजर पड़ी ही होगी। बाबूलाल के अनुसार सरकार अपनी न सही, कम से कम राज्य की इज्जत की तो चिंता करे। सरकार कलम उठाए और वहां के एसपी को आदेश दे कि दाहू और उसके गुर्गो को चौबीस घंटे में पकड़ कर अंदर करो, वरना खुद को सस्पेंड समझो। दाहू की काली कमाई के हिस्सेदार प्रशासन, पुलिस के लोगों पर एफआईआर की चेतावनी दें, फिर देखिये आपकी वही पुलिस दो घंटे में दाहू को घुटने के बल चलाकर जेल पहुंचा देगी। बाबूलाल ने सीएम के अलावा डीआईजी दुमका और झारखंड पुलिस के साथ भी सोशल मीडिया के जरिये इस सूचना की साझा किया है।
बाबूलाल मरांडी ने चिंता जताते हुए कहा है कि झारखंड में खासकर बांग्लादेश से सटे संथालपरगना के इलाके में आदिवासी संताल बच्चियां जिहादियों का शिकार बन रही हैं। ऐसे में हमंत सोरेन को अपने आदिवासी संताल समाज की बच्चियों में जागरुकता लाने और संतालों की जमीन छीनने, इनका अस्तित्व समाप्त कराने के लिये काम करने वाले ऐसी शक्तियों से बचाने के लिये जागरूकता फैलाने वाली इस केरला स्टोरी फिल्म को टैक्स फ्री करना चाहिए। सरकारी स्तर पर बांग्लादेश से प्रभावित सतालपरगना के सुदूर गांवो तक जगह- जगह इस फिल्म को दिखलाने का इंतजाम भी करवाना चाहिए।