नई दिल्ली। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने गुरुवार को कहा कि पाकिस्तान के खिलाफ ऑपरेशन सिंदूर अभी भी जारी है। यानी 7 मई को पाकिस्तान के 9 ठिकानों पर हुए एयर स्ट्राइक के बाद भी ऑपरेशन रोका नहीं गया है। रक्षा मंत्री ने ये बातें दिल्ली के पार्लियामेंट एनेक्सी में बुलाई गई सर्वदलीय बैठक में कही। करीब डेढ़ घंटे चली बैठक से बाहर आने के बाद संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने भी रक्षा मंत्री के बयान को दोहराया।
ऑपरेशन सिंदूर की जानकारी देने के लिए बुलाई गई सर्वदलीय बैठक में गृहमंत्री अमित शाह, विदेश मंत्री एस जयशंकर, विपक्ष के नेता राहुल गांधी और मल्लिकार्जुन खड़गे शामिल हुए।
सूत्रों के मुताबिक बैठक में बताया गया कि ऑपरेशन सिंदूर में 100 से ज्यादा आतंकी मारे गए हैं। ऑपरेशन जारी है, इसलिए सटीक संख्या बताना मुश्किल है। पाकिस्तान ने उकसाया तो फिर कार्रवाई करेंगे।
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और राहुल गांधी ने कहा कि संकट में हम देश और सरकार के साथ हैं। सरकार की कोई आलोचना नहीं करनी है। हमने सरकार को अपना पूरा समर्थन दिया है।
AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने कहा, ‘मैंने ऑपरेशन सिंदूर के लिए हमारे सशस्त्र बलों और सरकार की सराहना की है। हमें आतंकवादी संगठन रेजिस्टेंस फ्रंट (TRF) के खिलाफ एक वैश्विक अभियान चलाना चाहिए।
14 दिन में दूसरी सर्वदलीय बैठक हुई
इससे पहले 24 अप्रैल को पार्लियामेंट एनेक्सी में 2 घंटे तक सर्वदलीय बैठक हुई थी। इसमें 22 अप्रैल को जम्मू-कश्मीर में पहलगाम के बायसरन घाटी में आतंकी हमले की जानकारी दी गई थी। इस आतंकी घटना में 25 टूरिस्ट और एक स्थानीय घोड़ेवाले की मौत हो गई थी।
14 दिन पहले हुई सर्वदलीय बैठक में केंद्र सरकार ने माना था कि पहलगाम हमले में सुरक्षा में चूक हुई है। संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने बताया था कि आईबी और गृह मंत्रालय के अधिकारियों ने मीटिंग में विपक्षी नेताओं को सुरक्षा में हुई चूक के बारे में जानकारी दी।
वहीं, विपक्ष ने कहा कि वे सरकार के साथ हैं। विपक्षी सांसदों ने आतंकी कैंपों को नष्ट करने की मांग की। कहा कि सरकार आतंक के खिलाफ कड़े कदम उठाए। बैठक के बाद राहुल गांधी ने कहा- हर एक्शन पर हमारा सरकार को पूरा सपोर्ट है। सर्वदलीय बैठक दो घंटे चली थी।
खड़गे ने कहा था- इस मुद्दे पर हम एक हैं
सर्वदलीय बैठक के बाद मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा था कि आज की ऑल पार्टी मीटिंग में सभी पार्टियों के लोग आए थे। हमने कहा कि इस मीटिंग में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मौजूदगी जरूरी थी, क्योंकि वे ही अंतिम निर्णय लेंगे। मंत्रियों ने कहा कि हम आज की बैठक की बातें पीएम को बता देंगे। हमने कहा कि बता देना और बात है, खुद सुनकर निर्णय लेना और बात है।
हमने कहा कि वहां थ्री-टियर सिक्योरिटी रहती है, इसके बाद सिक्योरिटी लैप्स कैसे हुआ? वहां पर एक हजार लोग पहुंचे हुए थे। ये सिक्योरिटी फेल्योर और इंटेलिजेंस का नेग्लीजेंस है। टेररिस्ट अटैक हुआ, सरकार को तेज और जल्दी एक्शन लेना था, जो नहीं लिया गया। सभी नेताओं ने एकसाथ मिलकर कहा कि देशहित में सरकार जो भी निर्णय लेगी, हम साथ हैं। इस मुद्दे पर हम सब एक हैं।