दुमका। भाषा विवाद पर नीतीश कुमार के द्वारा दिए गए बयान पर पलटवार करते हुए वित्त मंत्री सह खाद्य आपूर्ति मंत्री रामेश्वर उरांव ने कहा कि बिहार में संथाल और उरांव की अच्छी आबादी है तो क्यों नहीं इन भाषाओं को बिहार सरकार मान्यता देती है। उन्होंने कांग्रेस कार्यालय भवन में बुधवार को आयोजित पत्रकार वार्ता में यह बात कही।
डॉ रामेश्वर उरांव ने कहा कि बिहार के बांका, सहरसा, पूर्णिया, कटिहार बगहा बेतिया जैसे जिलों में संथाल और उरांव समाज के लोग काफी संख्या में निवास करते हैं, तो नीतीश कुमार ने उनकी भाषा को क्यों नहीं राज्य के नौकरियों में मान्यता प्रदान किया। उन्होंने कहा कि सभी राज्यों का विशेषाधिकार है। इसमें दूसरे को टिप्पणी नहीं करनी चाहिए। बिहार और झारखंड राज्य जो अलग हुआ। उसमें भाषा-संस्कृति और समुदाय के भी मुद्दे शामिल थे। ऐसे में हमलोग इस निर्णय को लेने के लिए स्वतंत्र है। मंत्री रामेश्वर उरांव में नीतीश कुमार के उस बयान पर पलटवार करते हुए हेमंत सरकार का समर्थन किया। जिसमें नीतीश कुमार ने भोजपुरी और मगही भाषा के प्रति मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को नसीहत दी थी।
स्टेट फूड कारपोरेशन के गोदाम प्रबंधक की जल्द होगी बहाली
मंत्री रामेश्वर उरांव ने कहा कि एसएफसी के गोदामों के प्रबंधक के पद लगभग रिक्त हो गए हैं। इन सभी पदों पर बहुत जल्द नियुक्ति की जाएगी। अब बहाली संविदा के आधार पर होगी। इसके साथ ही खाद आपूर्ति विभाग के अन्य पदों पर झारखंड राज्य कर्मचारी चयन आयोग के द्वारा नियुक्ति होगी। डॉ रामेश्वर उरांव ने कहा कि राज्य के कई अनाज गोदामों में रखे अनाज के सड़ने की खबर सामने आ रही है। इसको लेकर कड़ी कार्रवाई की चेतावनी खाद्य आपूर्ति मंत्री ने दी। उन्होंने कहा कि वह वैसा मंत्री नहीं जो मुख्यालय में एसी चेंबर में बैठकर काम करे। राज्य का भ्रमण कर जमीनी हकीकत का पता करेंगे और जहां कहीं भी गड़बड़ियां मिलेगी उस पर कार्रवाई होगी और उसे सुधारा जाएगा। इस अवसर पर जिला अध्यक्ष श्यामल किशोर सिंह समेत अन्य कांग्रेस नेता उपस्थित रहे।