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राजधानी के बिरसा मुंडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट को अगले साल जनवरी में नया एटीसी (एयर ट्रैफिक कंट्रोल सिस्टम) मिल जायेगा। इसका काम मई-जून में ही पूरा होना था, लेकिन लॉकडाउन के कारण समय पर काम पूरा नहीं हो पाया। अब यह काम 31 दिसंबर तक पूरा हो जायेगा। बिरसा मुंडा एयरपोर्ट के डायरेक्टर विनोद शर्मा ने बताया कि नयी एटीसी बिल्ंिडग का काम 96 फीसदी तक पू

मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा कि शहीद सोबरन सोरेन के शहादत दिवस पर बरलंगा के लुकैयाटांड में हर साल की भांति इस साल भी एकत्रित हुए हैं। उन्होंने कहा कि इस पवित्र भूमि को झारखंड का हर व्यक्ति जानता है। यह वही भूमि है, जहां से अलग झारखंड राज्य के लिए, मूलवासी-आदिवासी के लिए, जल, जंगल, जमीन के लिए क्रांतिकारी आवाज बुलंद हुई थी।

राजधानी के कडरू डाकघर में फर्जीवाड़े के एक मामले का खुलासा हुआ है। यह फर्जीवाड़ा किसी और ने नहीं, बल्कि वहां के पोस्टमास्टर ने ही की है। यह मामला बचत खाते से जुड़ा है, जहां पर पोस्ट मास्टर ने ही ग्राहकों के विश्वास को तोड़ते हुए लाखों की चपत लगायी है।

बोकारो। संयुक्त बिहार में मंत्री रहे और बोकारो, धनबाद तथा गिरिडीह की राजनीति में गहरी पैठ रखनेवाले दिग्गज नेता अकलू राम महतो का शुक्रवार सवेरे निधन हो गया। वह किडनी रोग से ग्रसित थे। उन्हें इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया था। इसी दौरान उनका निधन हो गया।

एक देश के संपूर्ण विकास के लिए भ्रष्टाचार एक बहुत बड़ी रुकावट है। भारत में सबसे ज्यादा भ्रष्टाचार व्याप्त है। एशिया में अगर सबसे ज्यादा भ्रष्टाचारी लोग कहीं मिलते हैं, तो वो भारत में हैं। यह खुलासा ट्रांसपेरेंसी इंटरनेशनल के एक सर्वे से हुआ है। सर्वे में कहा गया है कि भारत में घूसखोरी की दर 39 फीसदी है। सर्वे की मानें तो 47 फीसदी लोग मानते हैं कि

केंद्र से राज्य सरकार को 15वें वित्त का पैसा इस साल जुलाई में मिल चुका है। इस पैसे के उपयोग, योजनाओं के संचालन, मॉनिटरिंग पर सवाल खड़े होने लगे हैं। 14वें वित्त से कंप्यूटर आॅपरेटर, जेइ को हर माह मानदेय भुगतान किया जाता था। लगभग 1500 कर्मियों की सेवाएं इसमें ली जी रही थीं, पर 15वें वित्त की राशि में कर्मियों के भुगतान के लिए कोई प्रोविजन नहीं किया गया है। जिन चुनिंदा पंचायतों में 14वें वित्त का पैसा बचा हुआ है, वहां कर्मी काम कर रहे हैं। जहां पैसे खत्म हो गये हैं, वहां वे नियमों के मुताबिक स्वत: विमुक्त हो चुके हैं। ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम ने इस संबंध में केंद्र सरकार को लेटर लिखा है। केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर को लिखे पत्र में उन्होंने 15वें

रिम्स में इलाजरत सजायाफ्ता लालू यादव का फोन कॉल वायरल होने पर बिहार-झारखंड की सियायत में भूचाल आ गया है। लालू के विरोधियों ने इसे मुद्दा बना लिया है। खासकर भाजपा का आरोप है कि लालू यादव जेल से ही बिहार में बनी एनडीए की सरकार गिराने की साजिश रच रहे हैं। हालांकि राजद ने इस आॅडियो का खंडन किया है। राजद नेता भाई वीरेंद्र ने कहा कि लालू की आवाज में बातें करनेवाले कई लोग हैं। ये सुशील कुमार मोदी का प्रोपेगंडा है। सुशील मोदी अपनी बेरोजगारी दूर करने के लिए लालू यादव का नाम उछाल रहे हैं। इस मामले की सच्चाई क्या है, यह तो जांच के बाद सामने आयेगा। लेकिन इस विवाद से लालू यादव फिर सुर्खियों में हैं। राजद सुप्रीमो के लंबे सियासी सफर में उनके साथ जुड़े विवादों पर नजर डालती दयानंद राय की रिपोर्ट।

बिहार में सत्तारूढ़ एनडीए के विधायकों को फोन करने का मामला राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव के गले की फांस बनता जा रहा है। एक तरफ जहां बिहार के भाजपा विधायक ललन पासवान ने उनके खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करायी है, वहीं झारखंड सरकार ने भी उन पर शिकंजा कस दिया है। राजद सुप्रीमो को रिम्स डायरेक्टर के बंगले से वापस पेइंग वार्ड में शिफ्ट कर दिया है, वहीं उपायुक्त ने इस बात की जांच के आदेश दिये हैं कि लालू के पास फोन कैसे पहुंचा।

मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन गुरुवार को अपने पैतृक गांव नेमरा में थे। उनके पिता शिबू सोरेन अपने पूरे परिवार को लेकर सोहराय पर्व मनाने रामगढ़ के गोला प्रखंड स्थित गांव में पहुंचे, तो एक तरफ जहां ग्रामीणों में खुशी थी, वहीं हेमंत और परिवार के दूसरे सदस्य

केंद्र सरकार की कथित मजदूर विरोधी नीतियों और निजीकरण के खिलाफ भारतीय मजदूर संघ को छोड़ कर अन्य सभी मजदूर संगठनों की ओर से गुरुवार को देशव्यापी हड़ताल का आह्वान किया गया है। इसमें तमाम मजदूर संगठन शामिल होंगे। इधर वामदल ने हड़ताल की पूर्व संध्या पर बुधवार को रांची में प्रदर्शन किया।

मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने झारखंड में भविष्य की रेल परियोजनाओं के निर्माण और उन पर होनेवाले खर्च पर सुझाव देने के लिए विकास आयुक्त की अध्यक्षता में गठित समिति के प्रतिवेदन को मंजूरी दे दी है। इस समिति द्वारा समर्पित प्रतिवेदन में अति महत्वपूर्ण रेल परियोजनाओं को केंद्र और राज्य सरकार 50-50 प्रतिशत शेयरिंग खर्च के आधार पर निर्माण के लिए लिया जायेगा।