-21 दिसंबर से शुरू हुई चिल्लई कलां 30 जनवरी तक रहेगी
श्रीनगर। जम्मू-कश्मीर में शीतलहर जारी है और शुक्रवार को श्रीनगर में न्यूनतम तापमान माइनस 4.3 और पहलगाम में माइनस 10 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया।
मौसम विभाग के अधिकारियों के मुताबिक जम्मू-कश्मीर में शीतलहर जारी है और रात में आसमान साफ रहने के कारण न्यूनतम तापमान में और गिरावट आ सकती है। शुक्रवार को श्रीनगर में न्यूनतम तापमान माइनस 4.3 डिग्री सेल्सियस, गुलमर्ग में माइनस 8.1 डिग्री सेल्सियस और पहलगाम में माइनस 10 डिग्री सेल्सियस रहा।
जम्मू शहर में रात का न्यूनतम तापमान 4.9 डिग्री सेल्सियस, कटरा शहर में 6.1 डिग्री सेल्सियस, बटोत में 3 डिग्री सेल्सियस, बनिहाल में 4.9 डिग्री सेल्सियस और भद्रवाह में शून्य डिग्री सेल्सियस रहा।
मौसम विभाग की तरफ से जारी की गई जानकारी के मुताबिक 10 जनवरी को शाम/रात में बादल छाए रहने के साथ मौसम आमतौर पर शुष्क रहेगा। 11 जनवरी को जम्मू के मैदानी इलाकों में हल्की बारिश के साथ आमतौर पर बादल छाए रहेंगे और जम्मू संभाग तथा कश्मीर संभाग के कुछ ऊंचे इलाकों में बर्फबारी होगी। 12 से 14 जनवरी को मौसम आम तौर पर शुष्क रहेगा। 15 से 16 जनवरी को आम तौर पर बादल छाए रहेंगे और कुछ जगहों पर हल्की बर्फबारी होगी। विभाग के अनुसार कुछ जगहों पर शीतलहर चलेगी।
स्थानीय तौर पर ‘चिल्लई कलां’ के नाम से जानी जाने वाली 40 दिनों की भीषण सर्दी की अवधि 21 दिसंबर से शुरू हुई और 30 जनवरी को समाप्त होगी। घाटी में झीलों, नदियों, तालाबों और कुओं सहित अधिकांश जल निकाय आंशिक रूप से जम गए हैं।
सुबह के कोहरे और ठंड ने घाटी में पैदल यात्रियों और वाहनों की आवाजाही को बहुत सीमित कर दिया है। फिरन नामक एक ढीला ट्वीड ओवरगारमेंट और कांगडी नामक विलो विकर टोकरी में बुना हुआ मिट्टी का अग्निपात्र, लंबी सर्दियों के महीनों के दौरान घाटी में देखी जाने वाली दो पसंदीदा चीजें हैं। ऑफिस जाने वालों के लिए इसके डिज़ाइन के अनुरूप, दर्जी ने अलग-अलग डिज़ाइन और स्टाइल के फिरन बनाए हैं। नतीजतन सर्दियों के महीनों में पिछले कुछ सालों में पूरे देश में फेरन एक फैशनेबल परिधान बन गया है।