नई दिल्ली: देश की सबसे तेज ट्रेन ‘वंदे भारत एक्सप्रेस’ में सफर करने के लिए हर यात्री को टिकट की पूरी कीमत चुकानी होगी, यानी इसमें किसी भी तरह की छूट नहीं दी जाएगी। बच्चों के लिए भी आपको पूरा टिकट लेना होगा। हालांकि, सांसदों के पास, विधायकों के कूपन और सैनिक-अर्धसैनिक बलों के वॉरंट्स चलेंगे। रेलवे कर्मचारियों के ड्यूटी पास को छोड़कर अन्य कोई भी नहीं चलेगा। ट्रेन को 15 फरवरी को पीएम नरेंद्र मोदी हरी झंडी दिखाएंगे, जबकि 17 फरवरी से आम यात्री इसमें सफर कर सकते हैं।
रेलवे ने मंगलवार को वंदे मातरम एक्सप्रेस या ट्रेन 18 के प्रस्तावित किराये को घटाने की घोषणा की। किराये को तर्कसंगत बनाते हुए रेलवे ने दिल्ली-वाराणसी सफर के लिए वातानुकूलित कुर्सीयान का किराया 1850 रुपये की जगह 1760 रुपये, जबकि एग्जिक्युटिव कैटिगरी का किराया 3520 रुपये की जगह 3310 रुपये करने की घोषणा की है।
रेलवे के एक आदेश में कहा गया है कि वापसी की यात्रा में चेयरकार के टिकट का किराया 1700 रुपये होगा और एग्जिक्युटिव श्रेणी का किराया 3,260 रुपये पड़ेगा। दोनों किराये में कैटरिंग का शुल्क भी शामिल है।