रांची। झारखंड के युवक-युवतियों के लिए खुशखबरी है। कारण अब राज्य में नौकरियों की बहार आनेवाली है। जॉब की चाह में बैठे बेरोजगारों के घर-आंगन में खुशियां बरसेगी। उनके अरमानों को भी पंख लगेगा। हेमंत सोरेन की सरकार ने सरकारी नौकरियों को भरने का बीड़ा उठाया है। झारखंड के सभी रिक्त पद भरते ही 1.87 लाख घरों में खुशियां बरसेंगी। इस खुशी में करीब 18 लाख से ज्यादा लोग शामिल होंगे। कारण एक सरकारी नौकरी पर कम से कम दस लोग खुशियां जरूर मनाते हैं। कमोवेश इस भाव को हेमंत सरकार भी समझ चुकी है। इसी कारण सरकार का अभी सारा फोकस सरकारी नौकरियों को भरने का है।इस दिशा में सरकार ने कदम भी बढ़ा दिया है। तमाम विभागों को इस बाबत निर्देश भी दिये जा रहे हैं। सीएम हेमंत सोरेन ने दो दिन की विभागीय मैराथन बैठक में साफ जता दिया है कि इन नौकरियों को भरना सरकार की पहली प्राथमिकता है। समीक्षा के दौरान भी सीएम हेमंत सोरेन ने अधिकारियों से दो टूक कहा है कि किसी भी हाल मेें रिक्त पड़े पदों को जल्द से जल्द भरा जाये। झारखंड के 1.87 युवाओं को अगर नौकरी मिलती है, तो उनके दिल में सुकून का भाव आयेगा। साथ ही विगत पांच सालों से झारखंडी युवाओं के मन में आ रहे निराशा का भाव भी खत्म होगा। कारण पिछले पांच साल में सरकार ने इस दिशा में सोचने की कोशिश तो की, लेकिन ईमानदार प्रयास नहीं किया। अन्यथा आज झारखंड के 1.87 लाख युवा सरकारी नौकरी में होते। इस मनोभाव को शायद युवा सीएम हेमंत सोरेन ने सरकार बनते ही भांप लिया और इस दिशा में तेजी से कदम बढ़ाया। सभी विभागों से रिक्त पड़े पदों का ब्योरा मांगा और इसे भरने की जरूरी कवायद करने का निर्देश भी दिया है। दो दिन की मैराथन समीक्षा बैठक के बाद झारखंड के युवाओं का जोश बढ़ा है। सीएम की इस पहल से झारखंडी युवाओं के अरमानों को भी पंख लगता दिख रहा है।
…तो और घरों में होगी खुशियों की बरसात
मुख्यमंत्री के निर्देश के बाद से राज्य में 1.87 लाख पदों पर बहाली निकलने की संभावना बढ़ गयी है। राज्य सरकार के आंकड़ों के अनुसार विभिन्न विभागों में फिलहाल 2,81,077 नियमित पद रिक्त हैं। नियुक्ति के बाद प्रोन्नति में किसी तरह की परेशानी से बचने के लिए कुल रिक्तियों का एक तिहाई हिस्सा खाली रखने की परंपरा है। राज्य सरकार के आंकड़ों के अनुसार विभिन्न विभागों में कुल 4,73,112 नियमित पद स्वीकृत है। हालांकि इसके मुकाबले सिर्फ 1,92,035 कर्मचारी ही कार्यरत हैं। यानी सरकार के विभिन्न विभागों में फिलहाल कुल 2,81,077 पद खाली है।
नियुक्ति के बाद प्रोन्नति में होनेवाली परेशानियों से बचने के लिए एक तिहाई पदों को खाली रखने की परंपरा है। अगर हेमंत सरकार इस परंपरा को खत्म करती है, तो करीब एक लाख और घरों में खुशियों की बरसात हो सकती है। कारण वर्तमान हेमंत सरकार तमाम पुरानी परंपरा और व्यवस्था को तोड़कर आगे बढ़ने को उत्सुक दिख रही है। वैसे, अभी 1.87 लाख पदों को भरने की प्रक्रिया शुरू करने की उम्मीद है। इन पदों पर नियुक्ति की वजह से सरकार पर करीब 129.40 करोड़ रुपये का अतिरिक्त आर्थिक बोझ पड़ने का अनुमान किया जा रहा है। लेकिन इस बोझ के बाद सरकारी व्यवस्था में जो सुगमता आयेगी और इतनी घरों में जो खुशियां बरसेंगी, इसे सीएम हेमंत सोरेन भांप चुके हैं।