राजद प्रमुख लालू प्रसाद ने कहा है कि यूपी में सरकार बनने के बाद मुख्यमंत्री आवास को गंगा जल से इसलिए धुलवाया गया कि वहां पिछड़े और मुस्लिम वर्ग के लोगों का आना जाना था। इसका खामियाजा उन्हें भुगतना होगा। भाजपा को ऐसी हुल्लड़बाजी से बचना चाहिए। साथ ही अल्संख्यकों को गाली देना बंद करे। उनका टार्गेट बिहार के अल्पसंख्यक बहुल इलाके में हिन्दू वाहिनी के माध्यम से समाज को बांटने का है। लेकिन हमने पार्टी कार्यकर्ताओं को निर्देश दिया है कि वह भाईचारा को किसी कीमत पर खत्म ना होने दें।
वहीं लालू प्रसाद देशभर के सेक्यूलर दलों को एकजुट करेंगे। उन्होंने कहा कि इसके लिए वह सभी दलों के प्रमुख से खुद बात करेंगे।
उन्होंने कहा कि लोकसभा चुनाव में वोटों के बंटवारे का लाभ भाजपा को नहीं लेने देंगे। ऐसा नहीं हुआ तो देश टुकड़ों में बंट जाएगा। बिहार और पंजाब में वोट नहीं बंटा तो भाजपा की बोलती बंद हो गई, लेकिन यूपी चुनाव में जीत से फासिस्ट ताकतों को बल मिला है।
पार्टी की महत्वपूर्ण बैठक के बाद रविवार को मीडिया से बात करते हुए उन्होंने सभी कार्यकर्ताओं को लोकसभा चुनाव की तैयारी में जुटने को कहा है। साथ ही महागठबंधन की एकजुटता को लेकर कोई बयान देने से परहेज करने की सलाह भी दी। लालू ने कहा कि महागठबंधन एकजुट है। यूपी चुनाव से उत्साहित पीएम नरेन्द्र मोदी लोकसभा चुनाव 2018 में ही कराने की सोच रहे हैं। वह चाहते हैं गुजरात और कुछ अन्य राज्यों के चुनाव के साथ ही लोकसभा का चुनाव भी हो जाए।
‘पीएम ने बिहार के साथ वादाखिलाफी की’
लालू प्रसाद ने कहा कि पीएम ने बिहार के साथ वादाखिलाफी की है। विशेष पैकेज और विशेष दर्जा देने की बात कहकर वोट ले लिए और बाद में मुकर गये। यूपी में भी किसानों का कर्ज पहली कैबिनेट में ही माफ करने को कहा था, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। उप मुख्यमंत्री तेजस्वी प्रसाद यादव ने कहा कि बिहार के लिए घोषित सवा लाख करोड़ के पैकेज में 55 हजार करोड़ सिर्फ सड़क की योजनाओं के लिए थीं। अब तक उसमें से एक पैसा नहीं मिला है। बीआरजीएफ का बकाया पांच सौ करोड़ भी नहीं मिला। केन्द्रीय रोड फंड को दो सौ से बढ़ाकर एक हजार करोड़ करने की बात हुई लेकिन अब तक स्वीकृति नहीं मिली।