HAZARIBAGH: हजारीबाग में रामनवमी पर डीजे प्रतिबंध और 500 निर्दोष लोगों पर एफआईआर दर्ज किए जाने के खिलाफ मनीष जायसवाल सदन में सरकार से इसे वापस लेने की मांग किया। सरकार से जवाब नहीं मिलने से नाराज होकर मनीष जायसवाल वेल में पहुंच गए और आसान के सामने खड़े होकर अपना कुर्ता फाड़ दिया। जिसके बाद पत्रकारों से बात करते हुए हजारीबाग सदर के विधायक मनीष जायसवाल ने कहा कि हजारीबाग में पुलिस वाले लोगों को डरा धमका रहे हैं। पुलिस वाले छोटे बच्चे शिक्षक अधिकारी आदि लोगों पर एफ आई आर दर्ज कर रही है जिनका कोई भी अपराधिक रिकॉर्ड पूर्व में नहीं रहा है। वहीं जिला प्रशासन रात देर रात तक डीजे भाड़े पर देने वाले लोगों के पास जाकर बॉन्ड भरवा रही है।
उन्होंने कहा कि सदन के अंदर जब यह मामला उठता है तो आसान की तरफ से कोई ठोस आश्वासन नहीं मिलता, सरकार सिर्फ हां ना सूचना मिल गई है ऐसे शब्दों को उपयोग कर विपक्ष की आवाज को दबाने का काम कर रही है।
उन्होंने सरकार से मांग किया कि इस मामले पर राज्य सरकार सदन के अंदर जवाब दे।
उन्होंने कहा कि क्या इस राज्य में हिंदू होना अपराध है। सदन में भी हमें कोई संरक्षण नहीं मिलता है। क्या हम लोग तालिबानी शासन में रहते हैं। डीजे क्यों नहीं बजेगा क्या कोई तर्क सरकार के पास है।