-श्रीराम सेतु के निर्माण में वानरसेना के साथ गिलहरी का भी योगदान

मुंबई। शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) के अध्यक्ष उद्धव ठाकरे ने गुरुवार को कहा कि इस समय की राजनीति में भगवान श्रीराम के नाम पर पत्थर भी पानी में तैर रहे हैं। श्रीराम सेतु के निर्माण में वानरसेना के साथ गिलहरी का भी योगदान रहा है। इसी तरह सभी शिवसेना कार्यकर्ताओं के सहयोग से ही लोकतंत्र को बचा सकेंगे।

रामनवमी के मौके पर बुधवार को विदर्भ के रामटेक से बहुत से कार्यकर्ता पैदल चलकर मुंबई में उद्धव ठाकरे के आवास ‘मातोश्री’ पर पहुंचे थे। उद्धव ठाकरे ने कहा कि रामटेक से यहां तक चलकर आना बहुत ही साहस का काम है। इसी संकल्प के साथ आगे भी सभी को मिलकर काम करना है। उद्धव ठाकरे ने कहा कि भले ही धनुष-बाण अब हमारे साथ नहीं है, लेकिन हमारी जेब में जो तीर है, यहीं हमारा ब्रह्मास्त्र है। हमारा ब्रह्मास्त्र आप जैसे साहसी लोग हैं, इसलिए हम आगे की लड़ाई अवश्य जीतेंगे।

उद्धव ठाकरे ने कहा कि लोकतंत्र को बचाना अकेले मेरा काम नहीं है या यह लड़ाई अकेले मेरे लिए नहीं है। हम सभी के लिए, हमारी आने वाली पीढिय़ों के लिए इस लड़ाई को लडऩा होगा। राम सेतु के निर्माण के दौरान वानरों की सेना के साथ जिस तरह गिलहरी ने काम किया था, उसी तरह जो जहां जो कुछ कर सकता है, उसे वह करना होगा। उद्धव ठाकरे ने कहा कि श्रीरामसेतु के निर्माण के दौरान भगवान रामचंद्र ने एक पत्थर फेंका, वह तैरने गया। अब राजनीति में अब यही हो गया है। पत्थर भगवान राम का नाम लेकर तैरते हैं और पत्थर राज करते हैं। ऐसे में श्रीराम के सच्चे भक्त को क्या करना चाहिए, यह सभी को बताने की जरुरत नहीं है।

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