पटना। लोकसभा चुनावों को शांतिपूर्वक और निष्पक्ष कराने के लिए चुनाव आयोग काफी गंभीर नजर आ रहा है। इसी कड़ी में इलेक्शन कमीशन ने बिहार में बड़ा एक्शन लिया है। आयोग ने बिहार के 237 प्रत्याशियों को बैन कर दिया है। आयोग के इस एक्शन से सभी दलों के प्रत्याशियों में हड़कंप मचा हुआ है।
दरअसल, चुनाव आयोग के नियमों के मुताबिक प्रत्याशियों को अपने चुनावी खर्चे का हिसाब-किताब देना अनिवार्य होता है। अगर प्रत्याशी चुनावी खर्च का हिसाब नहीं देते हैं तो आयोग उनके चुनाव लड़ने पर रोक तक लगा सकता है। बिहार के 237 पूर्व प्रत्याशियों के साथ कुछ ऐसा ही हुआ है। इन नेताओं ने भी इलेक्शन कमीशन को अपने चुनावी खर्चे की जानकारी नहीं दी है, जिसके कारण आयोग ने इन नेताओं को बैन कर दिया है। अब ये नेता लोकसभा चुनाव नहीं लड़ पाएंगे।
बता दें कि ये लोग 2019 के लोकसभा चुनाव और 2020 में हुये विधानसभा का चुनाव लड़ने वाले पूर्व प्रत्याशी हैं। पूरे देश में ऐसे नेताओं की संख्या 1069 है। लोगों ने चुनावी खर्च का हिसाब चुनाव आयोग को नहीं दिया है। इस लिस्ट में सबसे ज्यादा 237 नेता बिहार के हैं।
आपको बता दें कि लिस्ट में दूसरे नंबर पर यूपी के नेता आते हैं। यूपी के 121 प्रत्याशियों ने अपना खर्च वाला ब्योरा आयोग को नहीं दिया। तीसरे स्थान पर तेलंगाना है, यहां 107 नेताओं द्वारा चुनावी खर्च का हिसाब-किताब नहीं देने पर चुनाव लड़ने पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। चुनावी खर्च का हिसाब नहीं देने पर भारत निर्वाचन आयोग ने इनके चुनाव लड़ने पर प्रतिबंध लगाते हुये इसकी लिस्ट मुख्य निर्वाचन अधिकारियों को भेज दिया है।