दिल्ली में भले ही कोरोना वायरस की लहर का पीक निकल चुका हो लेकिन अब फंगस की नई लहर दिखाई दे रही है। विशेषज्ञों का भी कहना है कि राष्ट्रीय राजधानी में फंगस का पीक देखने को मिल रहा है क्योंकि यहां के बड़े-बड़े अस्पतालों में प्रत्येक दिन कम से कम आठ से 10 नए मरीज भर्ती करने पड़े रहे हैं।

स्थिति यह है कि पिछले दो दिन में ही 100 से ज्यादा फंगस रोगियों को अलग अलग अस्पतालों में भर्ती किया है जिसके चलते कुल मरीजों की संख्या 944 हो चुकी है। इनमें से 650 दिल्ली के सरकारी और प्राइवेट अस्पतालों में भर्ती हैं। जबकि 300 मरीजों का उपचार केंद्र सरकार के एम्स, सफदरजंग, लेडी हार्डिंग और आरएमएल अस्पताल में चल रहा है। सर गंगाराम अस्पताल के ही एक वरिष्ठ डॉक्टर ने बताया कि उनके यहां रोजाना आठ से 10 मामले आ रहे हैं। जबकि इससे पहले सप्ताह में यह आंकड़ा चार से पांच था। दिल्ली एम्स के ही एक डॉक्टर ने कहा कि फंगस रोगियों की संख्या उनके यहां तेजी से बढ़ रही है लेकिन इंजेक्शन पर्याप्त न होने की वजह से मरीजों का ऑपरेशन करना पड़ रहा है।

अब दिक्कत यह है कि ऑपरेशन करने के बाद भी मरीजों की जान नहीं बचा पा रहे हैं। ऐसा ही हाल लोकनायक, जीटीबी, राजीव गांधी सहित अन्य अस्पतालों का है जहां ब्लैक और व्हाइट फंगस के मामले सबसे अधिक मिल रहे हैं।

जानकारी मिली है कि दिल्ली में अभी तक कोरोना संक्रमित या रिकवर मरीज में क्रीम और येलो फंगस नहीं मिला है। ज्यादातर मरीजों में ब्लैक फंगस की शिकायत है। दो केस ऐसे हैं जिनमें ब्लैक और व्हाइट दोनों ही तरह का फंगस है ये मरीज अभी उपचाराधीन हैं।

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