नई दिल्ली : अमेरिका ने कहा है कि अगर कोई भारतीय कंपनी हुवावे या उसकी सहयोगी कंपनियों को अमेरिका में बने पार्ट्स या प्रॉडक्ट्स सप्लाई करती है तो उसके खिलाफ कार्रवाई हो सकती है। इसे भारत पर चाइनीज टेलीकॉम इक्विपमेंट कंपनी के खिलाफ कार्रवाई के लिए दबाव बनाने की पहल माना जा रहा है। अमेरिकी सरकार का पत्र मिलने के बाद मिनिस्ट्री ऑफ एक्सटर्नल अफेयर्स ने हुवावे पर लगे अमेरिकी प्रतिबंधों के भारतीय कंपनियों पर पड़ने वाले असर पर डिपार्टमेंट ऑफ टेलीकम्युनिकेशंस, नीति आयोग, मिनिस्ट्री ऑफ इलेक्ट्रॉनिक्स, मिनिस्ट्री ऑफ कॉमर्स और प्रिंसिपल साइंटिफिक एडवाइजर की राय मांगी है।

एक वरिष्ठ सरकारी अधिकारी ने कहा, ‘मिनिस्ट्री ऑफ एक्सटर्नल अफेयर्स की तरफ से तीन काम करने के लिए कहा गया है- हुवावे को अमेरिका में बने सॉफ्टवेयर/इक्विपमेंट मुहैया कराने वाली इंडियन कंपनियों के खिलाफ उसकी तरफ से प्रतिबंध लगाए जाने की संभावना सहित उसकी तरफ से मुहैया कराई सूचना की जांच कराई जाए, प्राग में हालिया 5जी सिक्योरिटी कॉन्फ्रेंस की सिफारिशों पर राय मुहैया कराई जाए और पूरे मामले में राय दी जाए।’

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