रांची: झारखंड सरकार ने ब्लैक फंगस को महामारी घोषित कर दिया है. हेमंत कैबिनेट की बैठक में सरकार ने इसपर फैसला लिया है. इसके लिए रेग्युलेशन बनाया जा रहा है. ब्लैक फंगस के संदिग्ध और कन्फर्म मामलों का अब राज्य में ट्रीटमेंट महामारी के प्रावधानों के तहत होगा. प्राइवेट और सरकारी अस्पतालों को इससे संबंधित गाइडलाइन जल्द मिल जाएंगी. गौरतलब है कि झारखंड में ब्लैक फंगस के मरीजों की संख्या 135 हो चुकी है, जबकि अबतक 26 लोगों की ब्लैक फंगस से जान जा चुकी है. वहीं 50 मरीज ठीक होकर डिस्चार्ज हो चुके हैं.

  • कैबिनेट के अन्य फैसले
    भारतीय सेना के रिटायर्ड सिपाही, जो SAP के तौर पर पुलिस विभाग में कार्यरत हैं, उनके परिजनों को भी अब अनुकंपा पर नौकरी मिल सकेगी. झारखंड पुलिस के सिपाहियों को उग्रवादी हिंसा में मारे जाने पर उनके परिजनों को जो अनुग्रह अनुदान और दूसरी सुविधाएं मिलती हैं, वह SAP जवानों के परिजनों को भी मिलेगी.
  • झारखंड स्वास्थ्य सेवा के कर्मी , जो मई 2021 से सितंबर 2021 तक रिटायर होने वाले हैं, उनको मार्च 2022 तक सेवा विस्तार दिया गया है. वहीं अक्टूबर 2021 से मार्च 2022 तक रिटायर करने वालों को सेवानिवृति की तारीख से 6 महीना तक एक्सटेंशन दिया गया है.
  • रांची के नगड़ी प्रखंड के मुडमा मौजा में 2.05 एकड़ जमीन पर एनटीपीसी का क्षेत्रीय कार्यालय बनेगा. इसके लिए 4 करोड़ 4 लाख रुपये की देय राशि पर भू हस्तांतरण के प्रस्ताव को स्वीकृति दी गई.
  • नगड़ी के ही मुड़मा मौजा में 1.03 एकड़ भूमि पर एनएचएआई का क्षेत्रीय कार्यालय बनेगा. इसके लिए 2 करोड़ 3 लाख रुपये की देय राशि पर जमीन हस्तांतरित करने की प्रस्ताव को स्वीकृति दी गई.
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