रांची | जमीन और शराब घोटाला मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ED) की टीम आज बुधवार की सुबह से ही रांची सहित चार शहरों के 32 ठिकानों पर छापेमारी कर रही है. रांची, धनबाद, दुमका, देवघर, गोड्डा में छापे मारे जा रहे हैं.
शराब घोटाले मामले में ईडी की टीम आज सुबह-सुबह रांची, देवघरूव दुमका गोड्डा सहित झारखंड में 32 ठिकानों पर छापा मारा है. बताया जा रहा कि शराब कारोबारी योगेंद्र तिवारी के कारोबार में प्रदेश के एक बड़े मंत्री के बेटे के ठिकाने पर भी ईडी की छापेमारी चल रही है, हालांकि इसकी आधिकारिक पुष्टि अब तक नहीं हो पाई है. लेकिन कहा जा रहा है कि मंत्री के बेटे का पैसा शराब कारोबारी के कारोबार में लगा हुआ है और इसे लेकर ही ईडी मंत्री के बेटे के ठिकानें पर छापेमारी कर रही है.
क्या है झारखंड में शराब घोटाला का मामला:
छ्त्तीसगढ़ शराब कंसलटेंट, सप्लायरों और झारखंड के उत्पाद विभाग ने झारखंड के सरकारी राजस्व को 450 करोड़ रुपए से अधिक का उत्पाद राजस्व का घाटा कराया है.झारखंड में नयी शराब नीति के सलाहकार अरुण पति त्रिपाठी ही छत्तीसगढ़ शराब घोटाले का सरगना बताये जाते हैं. उस पर आरोप है कि वह केंद्र सरकार और छत्तीसगढ़ राज्य की सहमति के बिना ही झारखंड में सलाहकार बने थे. नियमानुसार झारखंड में सलाहकार बनने के लिए उसे अपने मूल विभाग व छत्तीसगढ़ सरकार से अनुमति लेना आवश्यक था.
उन पर छत्तीसगढ़ में कई गंभीर आरोप लगे हैं, जिसमें एक फर्जी कंपनी बनाकर छत्तीसगढ़ में होलोग्राम छापने का आरोप भी है. तीन कंपनियों का छत्तीसगढ़ शराब घोटाला केस में नाम सामने आ रहा है. झारखंड की शराब नीति में भी उनका सीधा हस्तक्षेप है.