नई दिल्ली। राज्यसभा में मंगलवार को बहुराज्य सहकारी सोसाइटी (संशोधन) विधेयक, 2023 चर्चा के बाद पारित कर दिया गया । लोकसभा पहले ही इसे पारित कर चुकी है। इसके साथ अब विधेयक को संसद की मंजूरी मिल गई है। केंद्रीय सहकारिता राज्य मंत्री बीएल वर्मा ने विधेयक पर हुई चर्चा का उत्तर देते हुए कहा कि इसके अमल में आने के बाद सहकारिता आंदोलन को बहुत बल मिलेगा और सहकारिता क्षेत्र देश की अर्थव्यवस्था को मजबूत करेगा ।
वर्मा ने चर्चा के दौरान विधेयक पर सुझाव देने वाले सांसदों के प्रति आभार व्यक्त करते हुए उन्हें भरोसा दिलाया कि मोदी सरकार बीते दो वर्षों में सहकारिता क्षेत्र में बहुत से सुधार किए हैं और इसके परिणाम भी देखने को मिल रहे हैं।
वर्मा ने कहा कि राज्यसभा में बहुराज्य सहकारी समिति (संशोधन) विधेयक, 2023 के इस चर्चा में अगर पूरा विपक्ष हिस्सा लेता तो बहुत अच्छा रहता क्योंकि यह देश के किसानों और गांव से जुड़ा मुद्दा था।
उन्होंने कहा कि देश में सहकारिता आंदोलन 115 वर्ष पुराना है। इस दौरान यह आंदोलन कई पड़ाव से गुजरा है। लेकिन बीते दो वर्षों में सहकारिता के क्षेत्र में सुधार करने के लिए लिए अनेक प्रयास किए गए। सहकारिता मंत्री अमित शाह के नेतृत्व में सहकारी संस्थानों को दिशा देने का कार्य किया जा रहा है। प्राथमिक कृषि ऋण समिति (पैक्स) को मजबूत किया जा रहा है। पैक्स को जिला, राज्य और राष्ट्रीय सहकारी बैंकों से जोड़ा जा रहा है। पैक्स को कंप्यूटरीकृत किए गए हैं। अब पैक्स के दायरे को बढ़ाया जा रहा है। पैक्स के दायरे में कोल्ड स्टोरेज, गोदाम, लॉकर, बीज एवं फर्टिलाइजर वितरण, राशन की दुकान, कामन सर्विस सेंटर, मधुमक्खी पालन पैक्स, डेयरी पैक्स, गोबर गैस से ऊर्जा उत्पादन, ड्रिप सिंचाई, हर घर नल से जल मिशन कार्य अब पैक्स कर सकेंगे। पैक्स क्षेत्रीय स्तर पर बीज, फर्टिलाइजर, कीटनाशक उपलब्ध कराने के साथ अन्न भंडारण सहित रेलवे के टिकट देने के साथ-साथ हवाई जहाज के टिकट भी उपलब्ध करा सकेंगे।
वर्मा ने कहा कि सहकारिता मंत्रालय किसान हिताय, उपभोक्ता हिताय, आर्थिक हिताए, पशु हिताय और मानवता हिताय के ध्येय को ध्यान में रखते हुए काम कर रहा है। बीते दो वर्षों में सहकारिता मंत्रालय ने 48 पहल सहकारिता आंदोलन को मजबूत बनाने के लिए किए हैं। सहकारिता मंत्रालय सहारा की सहकारी समितियों में पैसा लगाने वाले लोगों के लगभग डूब चुके पैसे को सफलता पूर्वक वापस करवा रही है। इसके लिए कार्य तेजी से किए जा रहे हैं। हम सहकार से समृद्धि के ध्येय के साथ आगे बढ़ रहे हैं।