रांची. राजधानी रांची सहित राज्य के 10 शहरों में बस टर्मिनल बनाने के लिए नगर विकास विभाग ने निवेशकों को आमंत्रित किया है। निवेशकों के अनुसार पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप के लिए किसी पॉलिसी में बदलाव की जरूरत होगी तो उसे बदला जाएगा। जमीन लीज पर भी दी जा सकती है या कमर्शियल एक्टिविटी के आधार पर भी समझौता किया जा सकता है। निवेशक जिस तरह की सुविधा चाहेंगे, सरकार उपलब्ध कराएगी।
इन्वेस्टर्स मीट में देशभर के कई निवेशक पहुंचे : रांची, धनबाद और जमशेदपुर में प्राथमिकता के आधार पर बस टर्मिनल विकसित किए जाएंगे। यह सफल रहा तो दूसरे शहरों में भी प्रयोग किया जाएगा। यह बातें नगर विकास सचिव अजय कुमार सिंह ने बुधवार को स्टेशन रोड स्थित होटल बीएनआर चाणक्य में आयोजित कार्यशाला में कही। जुटकॉल की तरफ से आयोजित इन्वेस्टर्स मीट में देशभर के कई निवेशक पहुंचे थे। उन्हें बस टर्मिनल का कॉन्सेप्ट दिया गया और उनकी राय भी ली गई।
गुजरात के गीता मंदिर बस पोर्ट का दिया गया उदाहरण : गुजरात से आए निवेशक भरत साह ने पीपीपी मॉडल पर बस स्टैंड डेवलप करने में आने वाली चुनौतियों और समाधान की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि गुजरात के अहमदाबाद में स्थित गीता मंदिर बस स्टैंड को मॉडर्न बस पोर्ट के रूप में विकसित किया गया है। वर्तमान समय में इस टर्मिनल से 10,000 लोगों का आना जाना होता है और 1800 बस का परिचालन हो रहा है। एयरपोर्ट की तरह बस टर्मिनल में सुविधा उपलब्ध कराई गई है। गुजरात सरकार ने यह जमीन लीज पर दी है, जिसे पीपीपी मोड पर विकसित किया गया है। देश भर से जुटे अन्य निवेशकों ने भी सरकार द्वारा उपलब्ध कराई जा रही सुविधाओं की जानकारी ली।