आजाद सिपाही संवाददाता
रांची। टेट परीक्षा पास पारा शिक्षकों के समायोजन के मामले की सुनवाई सोमवार को झारखंड हाइकोर्ट में हुई। कोर्ट ने पारा शिक्षकों द्वारा उठाये गये दो बिंदुओं पर विस्तृत जवाब दाखिल करने का निर्देश राज्य सरकार को पूर्व में ही दिया था, लेकिन मामले में राज्य सरकार की ओर से कोई जवाब दाखिल नहीं किया गया। इसके बाद कोर्ट ने सोमवार को पारा शिक्षकों द्वारा उठाये गये दो बिंदू पर विस्तृत जवाब देने का निर्देश दिया है। इसमें से एक बिंदू, जिनमें यह कहा गया था कि पारा शिक्षकों को जो वेतन मिलता है, वह सहायक शिक्षक के बराबर मिलना चाहिए तथा दूसरे बिंदू, जिसमें यह कहा है कि वे लंबे समय से पारा शिक्षक के रूप में काम कर रहे हैं, ऐसे में उन्हें रेगुलराइज किया जाना चाहिए। इन दोनों पर अदालत कंप्रिहेंसिव जवाब राज्य सरकार को देने का निर्देश दिया है। मामले की अगली सुनवाई 29 नवंबर को निर्धारित की गयी है। मामले की सुनवाई हाइकोर्ट के चीफ जस्टिस डॉ रवि रंजन की अध्यक्षता वाली खंडपीठ में सोमवार को हुई। प्रार्थी सुनील कुमार यादव और अन्य समेत करीब 111 याचिकाएं पारा शिक्षकों के सहायक शिक्षक के रूप में वेतन और नियमितीकरण के मामले में हाइकोर्ट में दाखिल की गयी हैं। याचिका में कहा गया है कि पारा शिक्षक के पद पर वे 15 वर्ष से अधिक समय से काम कर रहे हैं। साथ ही वे शिक्षक पद की अहर्ता पूरी करते हैं। राज्य सरकार उनकी सेवा को स्थायी करे और उन्हें सहायक शिक्षक के पद पर समायोजित किया जाये। साथ ही समान कार्य के बदले समान वेतन उन्हें दिया जाये।