नई दिल्ली, । वित्तीय सेवा मामलों के सचिव विवेक जोशी ने राज्यों के अधिकारियों से प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना को तेजी से लागू करने का आग्रह किया है। इस योजना की शुरुआत प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने पिछले महीने की थी।
वित्त मंत्रालय द्वारा शुक्रवार को जारी एक बयान के मुताबिक विवेक जोशी ने पंजाब, हरियाणा और केंद्र शासित प्रदेश चंडीगढ़ के अधिकारियों के साथ दो बैठकें कीं। इन बैठकों में पीएम विश्वकर्मा योजना और उसके क्रियान्वयन के प्रयासों पर प्रस्तुतियां दी गईं। जोशी ने राज्य सरकार के क्षेत्रीय पदाधिकारियों से इस योजना के तहत लाभार्थियों का निर्बाध नामांकन, तेजी से सत्यापन और पंजीकरण सुनिश्चित करने को कहा है।
जोशी ने कहा कि इस योजना का जोर आज के ‘‘विश्वकर्माओं’’ को कल के उद्यमियों में तब्दील करना है। केंद्र सरकार ने पीएम विश्वकर्मा योजना को कौशल प्रशिक्षण, बिना गारंटी ऋण, आधुनिक उपकरण, बाजार समर्थन और डिजिटल लेन-देन के लिए प्रोत्साहन के जरिए 18 पहचाने गए कारोबार में लगे पारंपरिक कलाकारों तथा शिल्पकारों को समग्र समर्थन प्रदान करने के लिए तैयार किया है।
इन बैठकों में केंद्रीय सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम (एमएसएमई) मंत्रालय के अतिरिक्त सचिव, संयुक्त सचिव (डीएफएस), केंद्रीय कौशल विकास एवं उद्यमिता मंत्रालय (एमएसडीई) के क्षेत्रीय निदेशक और बैंकों के अधिकारियों के अलावा दोनों राज्यों तथा केंद्र शासित प्रदेश के वरिष्ठ अधिकारियों ने हिस्सा लिया। पीएम विश्वकर्मा योजना के तहत कारीगरों को दिए जाने वाले कर्ज पर आठ फीसदी तक की सब्सिडी देने का प्रस्ताव है। यह योजना कारीगरों को पांच फीसदी की बेहद सस्ती ब्याज दर पर बिना किसी गारंटी के तीन लाख रुपये तक का ऋण प्रदान करती है।