कहते हैं इंसान अगर कुछ करने की ठानता है तो उस लक्ष्य के प्रति उसकी इच्छाशक्ति और अभ्यास ही सफलता दिलाती है. कुछ ऐसी ही कहानी है उस बिहारी की जिसे कोई ‘टक्कर सिंह’ तो कोई ‘हेडमैन’ के नाम से पुकारता है.
हम बात कर रहे हैं वर्ल्ड रिकॉर्ड होल्डर धर्मेंद्र सिंह की जिनका सिर किसी चट्टान से कम नहीं. त्रिपुरा पुलिस में कार्यरत धर्मेंद सिंह के अनोखे शौक जो कि सिर से कच्चे बेल तोड़ने का था ने उन्हें आज वर्ल्ड रिकॉर्ड होल्डर बना दिया है. मूल रूप से बिहार के कैमूर जिले के रामगढ़ गांव के रहने वाले धर्मेंद ने अपने सिर से महज 2 मिनट 50 सेकेंड में 51 कच्चे बेल तोड़ने का रिकॉर्ड बनाया है. धर्मेंद्र ने ये रिकॉर्ड वर्ल्ड रिकॉर्ड इंडिया द्वारा आयोजित कार्यक्रम में बनाया.
13 साल से कर रहे हैं प्रैक्टिस
धर्मेंद्र ने न्यूज 18 से खास बातचीत में बताया कि मैं 13 साल से रोज इसकी प्रैक्टिस कर रहा हूं. धर्मेंद्र इसके लिये अपनी फिटनेस पर खासा ध्यान देते हैं. वो रोजाना सुबह-शाम मिला कर 5 से 6 घंटे तक जिम करते हैं. 2009 से त्रिपुरा पुलिस को अपनी सेवा दे रहे धर्मेंद्र ने बताया कि मेरा लक्ष्य अपने ही रिकॉर्ड को तोड़ना और युवाओं को ऐसे हुनर के लिये ट्रेनिंग देना है.पहली बार तीन जगह फूटा था सिर
पिछले 13 साल से अपने सिर को पत्थर बना चुके टक्कर सिंह उर्फ धर्मेंद्र ने बताया कि जब मैं 13 साल की उम्र में बनारस के काशी विश्वनाथ मंदिर गया तो वहां लोगों को नारियल चढ़ाते देखा. लोग पत्थर पर नारियल को पटक कर फोड़ रहे थे लेकिन मैंने अपने सिर से नारियल फोड़ कर भगवान को चढ़़ाने का प्रयास किया. इस प्रयास में मैं विफल रहा और मेरा सिर तीन जगहों पर फूटा. धर्मेंद्र को इसके लिये घर पर डांट भी पड़ी. इसके बाद धर्मेंद्र ने इसे चैलेंज मानते हुए अपना हुनर बना लिया. पहले उन्होने सिर से नारियल फोड़ना शुरू किया लेकिन बाद में इसे उन्होंने कच्चे बेल तक पहुंचा दिया.डंबल से सिर को करते हैं नॉक
जिस तरह से एक क्रिकेटर अपने बल्ले को स्ट्रोक लगाने लायक बनाने से पहले नॉक करता है उसी तरह धर्मेंद्र भी अपने सिर को लोहे के डंबलों से रोजाना 3 घंटे नॉक करते हैं. वो इसके लिये दोनों हाथों से पांच-पांच किलो के डंबल को अपने सिर पे मारते हैं. हमने जब धर्मेंद्र से पूछा कि क्या उन्हें कभी चोट लगने या ब्रेन है्म्ब्रेज का खतरा नहीं होता तो उन्होंने बताया कि वो हर तीन महीने पर अपने सिर का सिटी स्कैन कराते हैं ताकि उन्हें कोई परेशानी न हो.
कुछ ऐसा है करियर
2009 से त्रिपुरा स्टेट राइफल्स में नौकरी कर रहे धर्मेंद्र अभी अधिकारी रैंक में कार्यरत हैं और वो जिम इन्चार्ज भी हैं. 28 साल के धर्मेंद्र इंडिया वर्ल्ड रिकॉर्ड बनाने के साथ-साथ कई रियलिटी शो का भी हिस्सा रह चुके हैं. वो भारत के गोआ, गुजरात, मुंबई, दिल्ली, कोलकाता, अलावा अमेरिका और रूस में भी कई शोज में अपना हुनर दिखा चुके हैं. धर्मेंद्र खतरों के खिलाड़ी के अलावा शाबाश इंडिया में भी ताहिद खान, कुमार शानू को अपने प्रदर्शन से अचंभित कर चुके हैं.
शीर्षासन से मिलती है शक्ति
धर्मेंद्र के मुताबिक उन्हें सबसे ज्यादा फायदा शीर्षासन से होता है. वो रोजाना इसे एक घंटा करते हैं. इसके अलावा वो जिमनास्ट, सिर पर वार समेत शरीर को फ्लैक्सिवल करने के लिये स्ट्रेचिंग भी करते हैं. शीर्षासन से उन्हें सिर को मजबूत करने के साथ-साथ एकाग्रता को बनाये रखने में भी मदद मिलती है.