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    Home»विशेष»अयोध्या देश का धार्मिक ही नहीं आर्थिक हब भी बनेगा
    विशेष

    अयोध्या देश का धार्मिक ही नहीं आर्थिक हब भी बनेगा

    adminBy adminDecember 28, 2023Updated:December 30, 2023No Comments9 Mins Read
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    -उदघाटन तक 50 हजार करोड़ रुपये से अधिक का कारोबार होने का अनुमान
    -प्रभु श्रीराम के आगमन के कारण स्थानीय अर्थव्यवस्था को लगेंगे पंख

    राम सत्य हैं, राम सनातन हैं, राम आदि और अनंत हैं। जाकी रही भावना जैसी, प्रभु मूरत देखी तिन तैसी अर्थात भगवान राम के संदर्भ में जिनकी जैसी मान्यताएं, भावनाएं, समझ अथवा विवेक है, वे भगवान राम को उसी नजरिये से देखते हैं। हजारों साल पुराने सनातन के केंद्र और भारत की आध्यात्मिक राजधानी अयोध्या इन दिनों पूरी दुनिया के लिए आकर्षण का केंद्र बना हुआ है, लोग इसके बारे में जानने के लिए भी उत्सुक हैं। प्रभु श्रीराम के आगमन, यानी दुनिया के भव्यतम मंदिर में प्रभु श्रीराम की प्राण प्रतिष्ठा का दिन, यानी 22 जनवरी जैसे-जैसे नजदीक आ रहा है, लोग अयोध्या की तरफ नजरें गड़ाये हुए हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व और यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के मार्ग निर्देशन में अयोध्या धाम की तसवीर बदलने के लिए दिन-रात काम हो रहा है। इस पवित्र नगरी को सजाने-संवारने का काम दिन-रात चल रहा है। अपने रामलला के दर्शन के लिए हर सनातनी उत्सुक है। अयोध्या केवल राम मंदिर के लिए ही नहीं जाना जायेगा, बल्कि अब आध्यात्मिक के साथ-साथ आर्थिक हब के रूप में भी जाना जायेगा। दुनिया भर के व्यापारियों की नजर भी अब अयोध्या पर टिकी है। अयोध्या एक ऐसा उद्योग का केंद्र बनने जा रहा है, जिससे भारत के हर वर्ग का आर्थिक उत्थान भी होगा। धार्मिक आयोजन के अलावा स्थानीय बाजार में चल रही तैयारियां भी देखने-जानने लायक हैं। आपको यह जान कर आश्चर्य होगा कि अयोध्या में प्रभु श्रीराम के मंदिर बनने के कारण यहां की तसवीर पूरी तरह बदल रही है। इस पवित्र नगरी की अर्थव्यवस्था को मंदिर के कारण पंख लग जायेंगे। ऐसा अनुमान है कि अयोध्या में 22 जनवरी 2024 तक 50 हजार करोड़ रुपये का कारोबार होगा, जिससे न केवल अयोध्या और यूपी, बल्कि पूरा भारत लाभान्वित होगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी प्राण प्रतिष्ठा से पहले 30 दिसंबर को अयोध्या आ रहे हैं। इस दौरान वह इस पवित्र नगरी को 16 हजार करोड़ की योजनाओं की सौगात देंगे। क्या हो रहा है अयोध्या में, कैसी है प्राण प्रतिष्ठा की तैयारी और कैसे हर आम से लेकर खास व्यापारी की जिंदगी को पंख लगनेवाले हैं बता रहे हैं आजाद सिपाही के विशेष संवाददाता राकेश सिंह।

    मन में राम, तन में राम, जीवन में राम, रोम-रोम में राम और भारत के कण-कण में राम। राम एक आदर्श हैं, राम एक परिकल्पना हैं, राम एक जीवन हैं, राम एक दर्शन हैं, भगवान राम ही मर्यादा पुरुषोत्तम हैं। अयोध्या में भव्य राम मंदिर का निर्माण कार्य जोरों पर है। 22 जनवरी 2024 को सनातनियों का 500 सालों का सपना साकार होनेवाला है। अयोध्या देश का सबसे बड़ा पर्यटन हब बनने के लिए तैयार है। भव्य राम मंदिर में भगवान रामलला की प्राण प्रतिष्ठा का कार्यक्रम 22 जनवरी 2024 को है। राम मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा का दिन ऐतिहासिक होनेवाला है। इसे लेकर क्या आम, क्या खास, हर वर्ग में खासा उत्साह है। व्यापार जगत भी इसे लेकर खासा उत्साहित है। व्यापारियों का अनुमान है कि 22 जनवरी, 2024 देश में कारोबार के लिहाज से भी बेहद शानदार रहनेवाला है। इस दिन करीब 50 हजार करोड़ रुपये से ज्यादा का व्यापार होने का अनुमान है। कन्फेडरेशन आॅफ आॅल इंडिया ट्रेडर्स (सीएआइटी) का अनुमान है कि प्रभु श्रीराम के मंदिर से संबंधित उत्पादों की बिक्री से केवल जनवरी में 50 हजार करोड़ रुपये से अधिक का कारोबार हो सकता है। इससे देश के सभी राज्यों में व्यापार के बड़े अवसर दिखाई दे रहे हैं। देश के सभी बाजारों में बड़ी मात्रा में श्रीराम ध्वजा, श्री राम अंगवस्त्र सहित श्रीराम के चित्र से अंकित मालाएं, लॉकेट, चाबी रिंग, राम दरबार के चित्र, राम मंदिर के मॉडल के चित्र, सजावटी लटकनें, कड़े सहित अनेक प्रकार के सामान उपलब्ध हैं, जिनकी भारी मांग देखने को मिल रही है।
    मंदिर के मॉडल की सर्वाधिक मांग, कपड़ा उद्योग को भी खूब मिल रहा काम, महिलाओं की चांदी
    श्री राम मंदिर के मॉडल की मांग बहुत अधिक है और यह मॉडल हार्डबोर्ड, पाइनवुड, लकड़ी आदि अन्य सामान से अलग-अलग साइजों के तैयार किये जा रहे हैं। इन मॉडलों को बनाने में बड़ी संख्या में महिलाओं को रोजगार मिल रहा है, तो राज्यों में स्थानीय कारीगरों, कलाकारों और हाथ से काम करनेवाले लोगों को भी बड़ा व्यापार मिल रहा है। राम मंदिर से संबंधित तकरीबन सभी उत्पादों को लेकर श्रद्धालुओं में उत्साह है। जैसे श्रीराम ध्वजा, श्रीराम के चित्र और मालाएं, लॉकेट, चाबी के छल्ले, राम दरबार की फोटो समेत अन्य संबंधित सामान उपलब्ध होने लगे हैं। यही नहीं, रामनामी कुर्ते, टी शर्ट और अन्य वस्त्रों की मांग भी बढ़ गयी है। कपड़ा उद्योग को भी खूब काम मिल रहा है। राम मंदिर के बनने से अयोध्या में होटल, रेस्टोरेंट, टूर्स एंड ट्रेवल्स का उद्योग, फल, फूल, मिठाई का धंधा भी खूब बड़ा रूप लेनेवाला है। कपड़ा से लेकर लोकल चीजों की डिमांड भी खूब बढ़नेवाली है।
    कभी व्यापार चल रहा था मंदा, आज सांस लेने की फुर्सत नहीं
    मंदिरों के मॉडल बनाने और बेचनेवाले सहारनपुर के कारोबारी रवि शर्मा कुछ समय पहले तक व्यापार मंदा चलने की बात कह रहे थे और आज उनके पास सांस लेने की भी फुर्सत नहीं है। रवि मंदिरों के लकड़ी से बने मॉडल बना कर बेचते हैं। सुस्त कारोबार के बीच उन्हें नवनिर्मित राम मंदिर के मॉडल बनाने का ख्याल आया। शुरू करते ही उनके पास इतने आर्डर आने लगे कि पूरा करना मुश्किल हो गया। दिल्ली के सदर बाजार में झंडों का कारोबार करनेवाले लक्ष्य नागपाल का कहना है कि अयोध्या ही नहीं, देश भर के शहरों में मंदिर के मॉडल, झंडे, पटके, बैनर आदि बन रहे हैं। कारोबारी संगठन कनफेडरेशन आॅफ आॅल इंडिया ट्रेडर्स के मुताबिक राम मंदिर के उद्घाटन से देश भर में अगले महीने 50 हजार करोड़ रुपये का कारोबार हो सकता है।
    अभी तक केदारनाथ, बदरीनाथ आदि मंदिरों के लकड़ी के मॉडल बनाने वाले रवि का कहना है कि राम मंदिर का उत्साह कम से कम एक साल तक ऐसे ही चलेगा। इसलिए उनका कारोबार भी खूब बढ़ेगा। उनके पास अभी तीन मशीनें हैं, जिनसे रोजाना छह सौ मंदिर बन रहे हैं, मगर रोज डेढ़ हजार से दो हजार मॉडल बनाने के आर्डर हैं। इन्हें पूरा करने के लिए उन्होंने पांच और मशीनें मंगायी हैं। उनके मॉडलों की कीमत एक सौ रुपये से डेढ़ हजार रुपये तक है।
    सहारनपुर में ही आलिया आर्ट एंड क्राफ्ट के नदीम मलिक राम मंदिर को काष्ठ कला उद्योग के लिए बड़ी नेमत मान रहे हैं। उनका कहना है कि इस साल निर्यात की मांग बेहद सुस्त होने से सहारनपुर का यह उद्योग बहुत परेशान था, मगर राम मंदिर ने किस्मत बदल दी। मलिक को हरिद्वार से राम मंदिर के दो हजार मॉडल बनाने का आर्डर हाल में ही मिला है। वह कहते हैं कि पिछले कुछ दिनों से रोजाना हजारों की तादाद में मॉडल बनाने के आर्डर मिल रहे हैं, मगर हम एक दिन में डेढ़ सौ से दो सौ मॉडल ही बना सकते हैं। अयोध्या पहुंचने वाले लोगों की संख्या बढ़ने के साथ ही भविष्य में मांग कई गुना बढ़ सकती है। उत्पादन बढ़ाने के लिए हमें सरकार से आर्थिक मदद मिलनी चाहिए।
    दिल्ली के कारोबारी विजय पाल बताते हैं कि कारोबारी संगठन बड़ी तादाद में मॉडल के आर्डर दे रहे हैं। उन्हें 10 हजार से अधिक राम मंदिर मॉडल के आर्डर मिल चुके हैं। उन्हें लगता है कि एक साल में करीब 10 लाख राम मंदिर मॉडल बनवाने का आर्डर तो उनके पास से ही कारीगरों को जायेगा। मुरादाबाद में निजाम मेटलवेयर के शुएब शम्सी राम मंदिर के पीतल और लकड़ी दोनों से बने मॉडल बेच रहे हैं। शम्सी बताते हैं कि उनके पास 2 इंच से लेकर 2 फुट के मॉडल हैं। पीतल वाले मॉडल की कीमत एक हजार रुपये से एक लाख रुपये तक है और लकड़ी वाला राम मंदिर मॉडल 300 रुपये से 10 हजार रुपये का है। वह बताते हैं कि उनके पीतल के मॉडलों के भी काफी आॅर्डर आ रहे हैं।
    राम मंदिर में आरती के लिए आॅनलाइन बुकिंग
    प्राण प्रतिष्ठा समारोह से पूर्व राम जन्मभूमि मंदिर में आरती के लिए आॅनलाइन बुकिंग शुरू हो गयी है। इसके लिए पास जारी किया जायेगा। दिन में तीन बार भगवान राम की आरती होगी। राम जन्मभूमि मंदिर के पोर्टल से पास आॅनलाइन बना सकते हैं, लेकिन यह अयोध्या के काउंटर से ही मिलेगा। इसके लिए आधार कार्ड, वोटर आइडी, ड्राइविंग लाइसेंस और पासपोर्ट में से कोई एक दस्तावेज देना होगा। उसे साथ रखना भी होगा।
    सात दिनों तक चलेगा प्राण-प्रतिष्ठा अनुष्ठान
    रामलला की प्राण प्रतिष्ठा 16 से 22 जनवरी तक होगी। सात दिनों तक वृहद अनुष्ठान के बीच रामलला नये मंदिर में विराजेंगे। 22 जनवरी को पीएम नरेंद्र मोदी के हाथों श्रीरामलला के विग्रह की प्राण प्रतिष्ठा होगी। प्राण प्रतिष्ठा से पहले सरयू जल से रामलला का अभिषेक भी किया जायेगा। रामलला रामनगरी की पंचकोसी परिक्रमा करेंगे, अयोध्या के मंदिरों में दर्शन-पूजन करेंगे।
    प्राण प्रतिष्ठा का कार्यक्रम
    16 जनवरी को मंदिर ट्रस्ट की ओर से नियुक्त यजमान की ओर से प्रायश्चित, सरयू नदी के तट पर दशविध स्नान, विष्णु पूजन और गोदान।
    17 जनवरी को रामलला की मूर्ति के साथ अयोध्या भ्रमण करेगी शोभायात्रा, मंगल कलश में सरयू का जल लेकर मंदिर पहुंचेंगे श्रद्धालु।
    18 जनवरी को गणेश अंबिका पूजन, वरुण पूजन, मातृका पूजन, ब्राह्मण वरण और वास्तु पूजन से विधिवत अनुष्ठान आरंभ होगा।
    19 जनवरी को अग्नि स्थापना, नवग्रह स्थापना और हवन।
    20 जनवरी को मंदिर के गर्भगृह को सरयू के पवित्र जल से धोने के बाद वास्तु शांति और अन्नाधिवास होगा।
    21 जनवरी को 125 कलशों से दिव्य स्नान के बाद शैयाधिवास कराया जायेगा।
    22 जनवरी को सुबह पूजन के बाद दोपहर के मृगशिरा नक्षत्र में रामलला के विग्रह की प्राण-प्रतिष्ठा होगी।
    आज पहुंचेंगे प्रधानमंत्री मोदी
    इस बीच मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि 30 दिसंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का आगमन अयोध्या में विकास के नये युग को प्रारंभ करनेवाला साबित होगा। इस अवसर पर देश को एक नया अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट मिलने के साथ अयोध्या को 16 हजार करोड़ की परियोजनाओं की सौगात मिलेगी। रामलला की प्राण प्रतिष्ठा से पहले प्रधानमंत्री मोदी अपने इस दौरे में एयरपोर्ट, हाइवे, रेलवे स्टेशन और रेलवे लाइन दोहरीकरण के साथ कई बड़ी परियोजनाओं की सौगात अयोध्या को देंगे। इनमें श्रीराम जन्मभूमि मंदिर से जुड़ी महत्वपूर्ण परियोजनाओं पर खासतौर से फोकस होगा। चार प्रमुख पथों का भी लोकार्पण होगा। प्रधानमंत्री शनिवार की सुबह अयोध्या में छह वंदे भारत और दो अमृत भारत एक्सप्रेस ट्रेनों को हरी झंडी दिखायेंगे। इनमें से अयोध्या-आनंद बिहार वंदे भारत और दिल्ली-दरभंगा अमृत भारत ट्रेन को अयोध्या धाम रेलवे स्टेशन से और अन्य को वर्चुअल माध्यम से रवाना करेंगे। पीएम अयोध्या धाम स्टेशन पर तैयार नये भवन का लोकार्पण भी करेंगे।

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