-हेमंत सोरेन के पोस्ट पर भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने साधा निशाना
-जेल में यातनाएं दी जा रहीं, तो सीसीटीवी फुटेज को सार्वजनिक करायें : बाबूलाल
-सोशल मीडिया पर पोस्ट कर कसा तंज
आजाद सिपाही संवाददाता
रांची। प्रदेश भाजपा अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी ने सोशल मीडिया में पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की ओर से किये गये पोस्ट पर निशाना साधा है। मरांडी ने सोशल मीडिया पर पोस्ट कर कहा है कि हेमंत सोरेन जी की बड़ी तमन्ना थी, लोगों को उठा कर जेल में डालने की। सत्ता के अहंकार में आपने सैकड़ों निदोर्षों को जेल में डाला। तब आपको ना तो मानवाधिकार का ख्याल आया, ना जेल के अंदर की बदतर हालातों का। ईश्वर का न्याय देखिये कि जिस ‘जेल के खेल’ को आपने शुरू किया, अपने कुकर्मों के कारण आप भी उसी खेल का शिकार हो गये। उन्होंने कहा है कि वैसे अब आप बेकार में ही मानवाधिकार और आदिवासी बंधुओं की चिंता में दुबले हुए जा रहे हैं।
जब संताल में सैकड़ों आदिवासी बेटियों को लव जिहाद में फंसाया गया। शरीर के टुकड़े-टुकड़े कर दिये गये। गाड़ियों से कुचला गया। तब आपको आदिवासियों की याद नहीं आयी? हेमंत सोरेन जी यदि आपको जेल में कथित यातनाएं दी जा रही हैं, तो न्यायालय से अनुरोध कर अपने बैरक का सीसीटीवी फुटेज सार्वजनिक करायें। मैं आपको आश्वस्त करता हूं कि जेल मैनुअल के अनुसार आपको सारी सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए मैं आपके पक्ष में खड़ा रहूंगा। चंपाई सोरेन सरकार को जेल मैनुअल के अनुसार सारी सुविधाएं देने के लिए मजबूर कर दूंगा।
हेमंत सोरेन ने क्या किया था पोस्ट
रांची। पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के सोशल मीडिया को उनकी पत्नी कल्पा सोरेन हैंडल कर रही हैं। उन्होंने हेमंत की तरफ से झारखंडवासियों से आह्वान करते हुए पोस्ट किया था कि अगर हेमंत सोरेन के पक्ष में मजबूती से खड़ा नहीं हुए तो भाजपा के लोग इस राज्य को मणिपुर बनाने से बाज नहीं आएंगे। कल्पना सोरेन ने दिवंगत फादर स्टेन स्वामी को आदिवासी अधिकार कार्यकर्ता बताते हुए सोशल मीडिया पर लिखा है कि पुलिस हिरासत में उनकी मौत भारत के लोकतंत्र और मानवाधिकार पर काला धब्बा है। जेसुइट पादरी फादर स्टेन स्वामी 84 साल के थे।
वह आदिवासी अधिकार की लड़ाई लड़ रहे थे। इतनी उम्र और पार्किंसन रोग से ग्रसित होने के बावजूद भाजपा सरकार ने झूठे आतंकवाद का आरोप लगाकर उन्हें जेल में रखा। उन्हें जमानत नहीं दी। चिकिस्ता उपचार से वंचित रखा। पानी पीने के लिए 25 पैसे का एक स्ट्रॉ तक नहीं दिया गया। जेल में लगातार स्वास्थ्य बिगड़ने के कारण फादर स्टेन स्वामी की 5 जुलाई 2021 को हिरासत में ही मौत हो गयी। उनकी मौत आतंकवाद के बहाने से विपक्ष एवं आदिवासियों को दबाने और मानवाधिकार कार्य को अपराधीकरण करने की भाजपा की नीति का उदाहरण है। उन्होंने लिखा जैसे सबसे कमजोर वर्ग के लिए आवाज उठाने वाले फादर स्टेन को संस्थागत उपेक्षा और अन्याय से चुप कराया गया, आज उसी तरह का जुल्म हेमंत सोरेन पर हो रहा है। उन्होंने सोशल मीडिया पर फादर स्टेन स्वामी के साथ पूर्व सीएम हेमंत सोरेन की तस्वीर भी साझा की है।