हजारीबाग: उत्तरी छोटानागपुर प्रमंडलीय मुख्यालय हजारीबाग से हटाकर रांची शिफ्ट किए जाने की खबर से आक्रोश्ति जिला अधिवक्ता संघ ने आंदोलन छेड़ दिया है। आंदोलन की शुरुआत पूर्व घोषित कार्यक्रम के तहत समाहरणालय के समक्ष एक दिवसीय धरना देकर व न्यायिक कार्य से अलग रह कर किया। धरना कार्यक्रम की अध्यक्षता संघ के अध्यक्ष किशोरी मोहन वर्मा ने की। अधिवक्ता संघ द्वारा शुरु किए आंदोलन को विभिन्न राजनीति व सामाजिक संगठनों का भी समर्थन मिला। संघ के सदस्यों ने एक स्वर में कहा कि हजारीबाग बहुत तोड़ दिया, अब तोड़ने नहीं देगें। धरना कार्यक्रम को संबोधित करते हुए संघ के अध्यक्ष ने कहा कि प्रमंडलीय मुख्यालय का अस्तित्व किसी भी किमत में समाप्त नहीं होने देगें।

सचिव राजकुमार राजू ने कहा कि हजारीबाग बार-बार काटकर छोटा करने का काम किया गया है। जिसे अब बर्दास्त नहीं किया जाएगा। सरकार इसके बावजूद भी नहीं मानती है तो आंदोलन को तेज किया जाएगा। मौके पर पहुंचे सदर क्षेत्र के विधायक मनीष जयसवाल ने कहा कि अब तक ऐसी कोई बात नहीं है। कैबिनेट में इससे संबंधित कोई प्रस्ताव नहीं आया है। एक दफा इस तरह की बात सरकार के स्तर पर आयी थी, लेकिन उसे सहमति नहीं मिलने के आभाव में रद्द कर दिया गया है। यदि ऐसी कोई बात आयेगी तो आप बैठे रहेगें और आंदोलन के क्रम में सड़कों पर लेटा रहुंगा। धरना समाप्ति के बाद मांगों से संबंधित एक ज्ञापन उपायुक्त रविशंकर शुक्ला को सौंपा गया। सभा को संबोधित करने वालों में जदयू के प्रदेश महासचिव बटेश्वर प्रसाद मेहता,समाजसेवी सुधांशु सुमन, भाजपा जिला अध्यक्ष टून्नू गोप, अधिवक्ता संघ के उपाध्यक्ष शिवकुमार शिबू, शंभू कुमार, महावीर प्रसाद, राजेन्द्र प्रसाद, सुमन सिंह, विक्रम सेन, धन कुमार जैन, स्वरुपचंद जैन, भैया बिनोद बिहारी, चंद्रनाथ भाई पटेल सहित अन्य अधिवक्ताओं ने संबोधित किया।

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