टेक्नोलॉजी सोसाइटी और कल्चर में बड़े बदलाव लायेगी ये जेनेरशन
एडवांस्ड तो होंगे लेकिन चुनौतियां भी बहुत होंगी
साल 2025 का आगमन हो चूका है। इसी के साथ एक नयी पीढ़ी की शुरूआत हो चुकी है। आपने जेन जी और अल्फा जनरेशन के बारे में तो सुना ही होगा। लेकिन अब हम नये साल में एक नयी पीढ़ी देखने जा रहे हैं, जिसे जनरेशन बीटा के नाम से जाना जायेगा। यानी जो बच्चे 2025 में पैदा होंगे, वे जनरेशन बीटा कहलायेंगे। जाहिर तौर पर यह जनरेशन अब तक की सबसे स्मार्ट और एडवांस जनरेशन होगी। क्योंकि ये बच्चे ऐसे युग में पैदा होंगे, जहां आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, रोबोटिक्स और वर्चुअल रियलिटी जैसी टेक्नोलॉजी मौजूद होगी। आखिर क्या है जनरेशन बीटा और क्या है बच्चे के जन्म से इसका संबंध बता रहे हैं आजाद सिपाही के विशेष संवादाता राहुल सिंह।
मिलेनियल्स, जेन जी, जेन अल्फा के बाद अब जेन बीटा
मिलेनियल्स और जेन जी जैसे शब्दों के बारे में तो आपने अब तक खूब सुना होगा। ये शब्द अलग-अलग पीढ़ियों के लोगों को दशार्ते हैं। ऐसे में, अब एक नयी पीढ़ी आ रही है जिसे जेन बीटा कहा जा रहा है। ये वे लोग हैं जो 2025 से 2039 के बीच पैदा होंगे। जेन बीटा के पहले जेन अल्फा (2010-2024 में पैदा हुए) और उसके पहले जेन जेड (1997-2012 में पैदा हुए) आये थे। ये नाम देने का एक तरीका है। जैसे-जैसे समय बदलता है, नयी पीढ़ी आती है और उन्हें अलग नाम दिये जाते हैं। जेन अल्फा से शुरू करके, लोगों ने ग्रीक वर्णमाला के अक्षरों का इस्तेमाल करके इन पीढ़ियों के नाम रखने शुरू किये। तो जेन अल्फा के बाद जेन बीटा आया और आगे भी इसी तरह के नाम दिये जायेंगे।
नये युग की शुरूआत
साल 2025 से पैदा होने वाली पीढ़ी जनरेशन बीटा कहा जा रहा है। यह नाम इसलिए रखा गया है क्योंकि इससे पहले वाली जनरेशन का नाम अल्फा था। सोशल रिर्सर्चर मार्क मैकक्रिंडल के अनुसार, यह पीढ़ियों के नामकरण का एक तरीका है। इससे यह पता चलता है कि इतिहास में एक नये युग की शुरूआत होने जा रही है। एक्सपर्ट का कहना है कि इस दौर में पैदा होने वाले बच्चे बहुत भाग्यशाली होंगे। क्योंकि वे 22वीं शताब्दी को देख पाएंगे। ऐसा मौका हर बच्चे को नहीं मिलता। ये लोग बहुत किस्मत वाले होते हैं। मार्क मैकक्रिंडल का अनुमान है कि 2035 तक पूरी दुनिया की 16 प्रतिशत आबादी जनरेशन बीटा की ही होगी। यह पीढ़ी टेक्नोलॉजी सोसाइटी और कल्चर में कई बड़े और महत्वपूर्ण बदलाव लायेगी। अनुमान है कि इस नयी जनरेशन के बच्चे बड़े होकर ऐसा जीवन जियेंगे, जहां न केवल गाड़ियां खुद चलेंगी, बल्कि सेहत का ध्यान रखने के लिए भी टेक्नोलॉजी का ही सहारा लिया जायेगा। कुल मिलाकर इस युग के बच्चे कंप्यूटर से बनी दुनिया में घूमेंगे।
जनरेशन बीटा के बच्चों के लिए कई चुनौतियां
एक्सपर्ट मानते हैं कि तकनीकों का युग जनरेशन बीटा के बच्चों के लिए कई चुनौतियां भी लेकर आयेगा। इनसे निपटने के लिए बच्चों को न केवल मिलनसार बल्कि होशियार भी बनना पड़ेगा। इतना ही नहीं, बच्चों को नये बदलावों के साथ खुद को ढालना भी जल्द सीखना होगा। जेन बीटा यानी 2025 में जन्मे बच्चे, एक ऐसी दुनिया में पलेंगे जहां हर चीज एक क्लिक दूर होगी। उनके पास हर तरह की टेक्नोलॉजी होगी, जैसे स्मार्टफोन, कंप्यूटर और रोबोट, लेकिन साथ ही उन्हें कई बड़ी समस्याओं का भी सामना करना पड़ेगा। जैसे कि धरती का तापमान बढ़ना, शहरों का बहुत बड़ा होना और दुनियाभर में लोगों की जनसंख्या बढ़ना। इन समस्याओं से निपटने के लिए जेन बीटा को बहुत होशियार और मिलनसार होना होगा। उन्हें इन बदलावों के साथ खुद को ढालना सीखना होगा और दूसरों की मदद करना भी सीखना होगा। यानी जेन बीटा के पास बहुत सारी सुविधाएं होंगी, लेकिन उन्हें कई चुनौतियों का भी सामना करना होगा। उन्हें इन चुनौतियों से निपटने के लिए तैयार रहना होगा।