रांची। झारखंड से राज्यसभा की दो सीटों पर चुनाव 26 मार्च को होगा। परिमल नथवाणी और प्रेमचंद गुप्ता नौ अप्रैल को रिटायर हो रहे हैं। इस कारण यह चुनाव कराया जायेगा। चुनाव आयोग ने मंगलवार को इसके साथ ही 16 राज्यों की 53 सीटों पर भी राज्यसभा चुनाव की घोषणा की। चुनाव आयोग ने बताया कि इन राज्यसभा सदस्यों का कार्यकाल अप्रैल में समाप्त हो रहा है। इनमें उप सभापति हरिवंश, मोतीलाल वोरा, रामदास आठवले, दिग्विजय सिंह, डॉ संजय सिंह, कुमारी शैलजा, विजय गोयल और तिरुचि शिवा आदि प्रमुख हैं।
आयोग के अनुसार चुनाव की अधिसूचना छह मार्च को जारी होगी तथा 13 मार्च को नामांकन, 16 को नामांकन पत्रों की जांच और 18 मार्च को नाम वापस लेने की अंतिम तारीख होगी। मतदान 26 मार्च को होगा और मतगणना उसी दिन होगी।
आयोग के अनुसार, महाराष्ट्र, ओडिशा, तमिलनाडु और पश्चिम बंगाल से चुने गये सदस्य दो अप्रैल को सेवानिवृत्त हो जायेंगे, जबकि आंध्रप्रदेश, तेलंगाना, बिहार, झारखंड, राजस्थान, गुजरात, मणिपुर, असम, छत्तीसगढ़, हरियाणा, मध्यप्रदेश और हिमाचल के सदस्यों का कार्यकाल नौ अप्रैल और मेघालय के सदस्यों का कार्यकाल 12 अप्रैल को समाप्त होगा।
जिन राज्यों में चुनाव कराये जा रहे हैं, उनमें महाराष्ट्र की सात, ओडिशा की चार, तमिलनाडु की छह, पश्चिम बंगाल की पांच, आंध्र प्रदेश की चार, तेलंगाना की दो, असम की तीन, बिहार की पांच, छत्तीसगढ़ की दो, गुजरात की चार, हरियाणा की दो, हिमाचल की एक, झारखंड की दो, मध्य प्रदेश की तीन, मणिपुर की एक, राजस्थान की तीन और मेघायल की एक राज्यसभा सीट शामिल है।
झारखंड की 81 सदस्यीय विधानसभा में अभी एक सीट रिक्त है। यहां दो सीटों के लिए चुनाव होगा। विधानसभा की वर्तमान सदस्य संख्या के अनुसार सत्तारूढ़ झामुमो-कांग्रेस और राजद तथा भाजपा एक-एक सीट अपने कब्जे में करेगी। मध्यप्रदेश से तीन राज्यसभा सांसद दिग्विजय सिंह, प्रभात झा और सत्यनारायण जटिया का कार्यकाल नौ अप्रैल को पूरा हो रहा है।
इस वजह से रिक्त होने वाली तीन सीटों के लिए निवार्चन कराया जा रहा है। 230 सदस्यीय विधानसभा में वर्तमान में विधायकों की संख्या के आधार पर माना जा रहा है कि तीन में से दो सीटों पर कांग्रेस और एक सीट पर भाजपा प्रत्याशी विजयी हो सकते हैं। राज्य में सत्तारूढ़ दल कांग्रेस और मुख्य विपक्षी दल भाजपा की ओर से राज्यसभा जाने के इच्छुक दावेदार सक्रिय हो गये हैं।
बहुमत से दूर ही रहेगी भाजपा
फिलहाल भाजपानीत एनडीए और अन्य मित्र दलों की सदस्य संख्या राज्यसभा में 106 और अकेली भाजपा की 82 है, जबकि 425 सदस्यीय राज्यसभा में बहुमत के लिए 123 सदस्यों की आवश्यकता होती है। गौरतलब है कि 2018 और 2019 में भाजपा को कुछ राज्यों में हार का सामना करना पड़ा है, जिसका सीधा असर राज्यसभा के द्विवार्षिक चुनाव परिणाम पर पड़ना स्वाभाविक है। दूसरी तरफ, कांग्रेस और उसके सहयोगी दलों की स्थिति 245 सदस्यीय राज्यसभा में सुधरेगी। इस समय भाजपा के राज्यसभा में 83 और कांग्रेस के 45 सदस्य हैं। समीकरण के हिसाब से राज्यसभा में भाजपा की संख्या 83 के आसपास बनी रहेगी और सदन में बहुमत की उसकी आस फिलहाल पूरी नहीं हो पायेगी। जबकि छत्तीसगढ़, मध्यप्रदेश, राजस्थान, झारखंड और महाराष्ट्र की सत्ता में आने के बाद कांग्रेस को राज्यसभा में अपनी कुछ सीटें बढ़ाने का मौका मिलेगा।
झारखंड से राज्यसभा की दो सीटों पर चुनाव 26 मार्च को
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