रांची। विधायक सरयू राय ने स्वास्थ्य विभाग और स्वास्थ्य मंत्री पर घोटाला करने का आरोप लगाया। इस संबंध में बुधवार को मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को एक अभ्यावेदन भी सौंपा। अभ्यावेदन में उन्होंने स्वास्थ्य विभाग में मंत्रिपरिषद के निर्णय के अनुसार चयनित मानव बल आपूर्ति करने वाले आउटसोर्सिंग एजेंसियों का इंपैनल्ड रद्द करने का आदेश दिया है। साथ ही एक माह के भीतर नये सिरे से आउटसोर्सिंग एजेंसी का चयन करने के लिए अस्पतालों के अधीक्षक और जिला के सिविल सर्जनों को निर्देश दिया है। आउटसोर्सिंग एजेंसी का चयन झारखंड मेडिकल एंड हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट एंड प्रोक्योरमेंट कॉरपोरेशन लिमिटेड द्वारा प्रकाशित निविदा के आधार पर हुआ था। स्वास्थ्य मंत्री के प्रभाव में विभाग ने एक साल तक इसके साथ एकरारनामा नहीं किया।
पूर्व से चल रही व्यवस्था को लागू रहने दिया। अब इनका इंपैनल्ड रद्द कर ये चाहते हैं कि पूर्व की भांति ही आउट सोर्सिंग एजेंसी द्वारा मानव बल उपलब्ध कराने का काम चलता रहे। आश्चर्य है कि मंत्रिपरिषद द्वारा पारित संकल्प के आधार पर प्रकाशित निविदा द्वारा चयनित आउटसोर्सिंग कंपनी का पैनल मंत्री ने स्वयं रद्द कर दिया और मंत्रिपरिषद को सूचित किये बिना अपने स्तर पर ही उन्होंने विज्ञापन निकालकर एजेंसी नियुक्त करने का निर्देश सिविल सर्जन और अस्पताल के अधीक्षकों को दिया। स्वास्थ्य मंत्री जानते हैं कि एक माह के भीतर निविदा निष्पादन संभव नहीं है, क्योंकि एक माह के भीतर चुनाव की घोषणा हो जायेगी। पहले से चल रही इस व्यवस्था को ही कायम रखने की साजिश स्वास्थ्य मंत्री कर रहे हैं। वस्तुत: यह बहुत बड़ा घोटाला है, जिसकी जांच मुख्यमंत्री करायें और अनियमितता होने से रोकें।