गोवा शिपयार्ड में निर्मित अत्यधिक प्रदूषण नियंत्रण पोर्ट का हुआ जलावतरण समारोह
सुरक्षित और समृद्ध भविष्य के लिए समुद्री शक्ति में जारी रहेगा निवेश और निर्माण
रांची। भारत में निर्मित अत्याधुनिक प्रदूषण नियंत्रण को समुद्र प्रताप का जलावतरण समारोह गुरुवार को गोवा में स्थित शिप यार्ड में संपन्न हुआ। इस दौरान भारतीय तटरक्षक दल की परंपरा का अनुसरण करते हुए रक्षा राज्यमंत्री संजय सेठ की धर्मपत्नी नीता सेठ ने इस पोत का जलावतरण किया। यह नियंत्रण पोत पूरी तरह से भारत में निर्मित है। इस अवसर पर पश्चिमी तट नियंत्रक आइजी विष्णु शर्मा सहित अन्य गणमान्य लोग उपस्थित थे। केंद्रीय रक्षा राज्यमंत्री संजय सेठ ने कहा कि इतने बड़े पोत का निर्माण मेक इन इंडिया और आत्मनिर्भर भारत जैसह मुहिम के प्रति हमारे समर्पण और अटूट प्रतिबद्धता का प्रमाण है। उन्होंने कहा कि मेरी धर्मपत्नी नीता सेठ के हाथों यह महत्वपूर्ण और शुभ कार्य संपन्न हुआ। मैं ईश्वर से इस प्रदूषण नियंत्रण पोत की सफलता की कामना करता हूं।
केंद्रीय रक्षा राज्यमंत्री ने कहा कि पिछले एक दशक में मोदी सरकार ने भारतीय तटरक्षक बल की जहाज निर्माण योजना को पूर्ण रूप से सहयोग और समर्थन दिया है। भारतीय तटरक्षक हमारी समुद्री सीमाओं की सुरक्षा में जो महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं, इनका यह कार्य प्रशंसनीय है। अगले तीन से पांच वर्षों में आत्मनिर्भर भारत और मेक इन इंडिया के तहत भारतीय तटरक्षक बल और भी कई ऐसे जहाज तैयार करने वाला है। 1960 में एक छोटी नाव मरम्मत सुविधा के रूप में शुरू होनेवाला गोवा का शिपयार्ड आज भारतीय तटरक्षक और नौसेना के लिए आधुनिक जहाज के निर्माण का बड़ा केंद्र बन गया है। यह हर देशवासी के लिए गौरव की बात है। जीएसएल के आधुनिकीकरण कार्यक्रम के क्रियान्वयन से इस यार्ड की क्षमता में काफी वृद्धि हुई। मंत्री ने कहा कि आज का लांचिंग समारोह हमारे कर्तव्य परायणता और प्रतिबद्धता का प्रमाण है। यह संदेश स्पष्ट है कि भारत समुद्री शक्ति में अपना निवेश और निर्माण कार्य जारी रखेगा ताकि हमारा आने वाला कल सुरक्षित हो और समृद्ध हो।