दिल्ली के गांधीनगर इलाके में स्थित टैगोर पब्लिक स्कूल में सिक्योरिटी गार्ड द्वारा पांच साल की बच्ची से दुष्कर्म का मामला सामने आया है। ये मामला शनिवार दोपहर का है। पुलिस ने मामला दर्ज कर लिया है। वहीं मेडिकल में दुष्कर्म की पुष्टि हो गई है। आरोपी को आज कोर्ट में पेश किया जाएगा।
डीसीपी शाहदरा ने बताया कि आरोपी विकास स्कूल में पिछले तीन साल से गार्ड और चपरासी का काम कर रहा था। उसने खाली क्लास रूम में बच्ची से दुष्कर्म किया है।
बताया जा रहा पुलिस ने शिकायत के आधार पर आरोपी गार्ड विकास को गिरफ्तार कर लिया है। जांच में पता चला है कि आरोपी ने बच्ची को स्कूल के खाली क्लासरूम में ले जाकर दुष्कर्म किया था। पुलिस ने आरोपी के पास खून से सने कपडे भी बरामद कर लिए है। वहीं बच्ची की हालत नाजुक बताई जा रही है। रक्त बहने के कारण बच्ची का ऑपरेशन नहीं हो सका था।
पूछताछ में आरोपी ने किया ये खुलासा
आरोपी गार्ड ने पूछताछ में बताया है कि ये घटना शनिवार दोपहर 11.45 की है। आरोपी ने बताया कि जब बच्ची वाशरूम जा रही थी उस वक्त वो शिक्षकों को खाना देकर वापस लौट रहा था। उसने पीड़ित बच्ची को रोका और खाली क्लासरूम ले गया। उसने वहां बच्ची को धमकी दी कि वह इस बारे में किसी को न बताए।
अभिभावकों ने बताया कि बच्ची घर मे किसी से बातचीत नहीं कर रही थी। उसने दर्द की शिकायत भी की थी। पुलिस इस बात की भी जांच कर रही है कि गार्ड ने किसी अन्य बच्चे के साथ तो ऐसा नहीं किया।
जानकारी के अनुसार रघुबरपुरा इलाके में पीड़िता परिवार के साथ रहती है और सुभाष मोहल्ला स्थित स्कूल में पढ़ती है। स्कूल से दोपहर करीब डेढ़ बजे बच्ची घर आ गई।
शाम को उस ने मां से कहा कि उसके पेट में दर्द है। इसके बाद मां उसे चाचा नेहरू बाल चिकित्सालय लेकर गई। मेडिकल जांच में बच्ची के अंदरुनी अंगों से रक्तस्राव भी पाया गया। पूछने पर बच्ची ने बताया कि लाल टोपी पहने अंकल ने उसके साथ गलत काम किया है।
इसके बाद रात आठ बजे अस्पताल से पुलिस को घटना की सूचना दी गई।
वहीं बच्ची के अभिभावक के सवाल कर रहे हैं कि हाल में गाजियाबाद और गुरुग्राम के स्कूल में बच्चों के साथ घटनाओं से स्कूल ने सबक क्यों नहीं लिया। सिक्योरिटी गार्ड की ड्यूटी बाहर लगी थी तब वह अंदर क्यों घूम रहा था। जब वह बच्ची को लेकर स्कूल परिसर में घूम रहा था तब उसे किसी ने टोका या पूछताछ क्यों नहीं की। स्कूल प्रशासन एवं टीचर ने महज पांच साल की बच्ची को अकेले परिसर में जाने क्यों दिया।
घटना के वक्त स्कूल की दाई और चपरासी कहां थे जिन पर बच्चों की देखरेख की जिम्मेदारी थी।