नई दिल्लीः महात्मा गांधी की 150वीं जयंती पर कांग्रेस देश के सामाजिक, सियासी और सांस्कृतिक माहौल पर चर्चा करेगी और एक प्रस्ताव पारित कर लोगों से अनुरोध करेगी कि वे बापू के प्रेम, अहिंसा और भाईचारे सिद्धांत का पालन करें। महाराष्ट्र के वर्धा में महात्मा गांधी के सेवाग्राम आश्रम में 2 अक्तूबर को कांग्रेस कार्य समिति (सीडब्ल्यूसी) की बैठक होगी जहां पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह, संप्रग अध्यक्ष सोनिया गांधी और पार्टी अध्यक्ष राहुल गांधी चर्चा का नेतृत्व करेंगे। सीडब्ल्यूसी कांग्रेस की सर्वोच्च नीति निर्धारिक इकाई है। राष्ट्रपिता की जयंती पर कांग्रेस 2019 के लोकसभा चुनावों से पहले एक राजनीतिक संदेश देने की कोशिश कर रही है।
पार्टी अगले चुनावों में भाजपा को हराने के मिशन पर है और वह भगवा पार्टी और संघ पर हमला करने का कोई मौका नहीं चूकती है। अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के महासचिव अशोक गहलोत ने बताया, ‘‘गांधीजी की जयंती पर राहुल गांधी की अध्यक्षता में सीडब्ल्यूसी भाजपा और नरेंद्र मोदी के शासन में मौजूदा सामाजिक, राजनीतिक और सांस्कृतिक माहौल पर चर्चा की जाएगी, और बापू के आश्रम से गांधीजी के प्रेम, अहिंसा और सांप्रदायिक सौहार्द का संदेश भेजा जाएगा।’’ इसी आश्रम में बापू ने अपने जीवन के आखिरी 12 साल बिताए थे।
उन्होंने कहा, ‘‘महात्मा गांधी का संदेश आज के भारत में भी महत्व रखता है जिसे भाजपा और संघ द्वारा फैलाई जा रही नफरत और सांप्रदायिक हिंसा की राजनीति जकड़ रही है।’’ कांग्रेस के आला नेता दो अक्टूबर को दिल्ली में गांधीजी की समाधि पर श्रद्धांजलि अपूर्ति करने के बाद उनके वर्धा आश्रम में एक प्रार्थना सभा में भाग लेंगे। गहलोत ने कहा कि कांग्रेस कार्यकर्ताओं द्वारा वर्धा में एक शांति मार्च निकाला जाएगा जिसके बाद एक जनसभा होगी। देश भर से कांग्रेस नेता इस रैली में शामिल होंगे।