विशेष
-पीएम मोदी ने अपनी ‘गारंटी’ को बना लिया सबसे महत्वपूर्ण हथियार
-पहली बार वोट देनेवाले और गरीबों को साधने के लिए तैयार हो रही रणनीति
-महिलाओं और ओबीसी वोट के लिए भाजपा ने बना रखी है खास योजना
दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र अब पूरी तरह चुनावी मोड में आ चुका है। देश में हर तरफ चुनावी गतिविधियों की धमक महसूस की जाने लगी है। पिछले साढ़े नौ साल से देश पर शासन कर रही भारतीय जनता पार्टी और इसके शीर्षस्थ नेता प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी वैसे तो हर समय चुनावी अग्नि परीक्षआ के लिए तैयार रहते हैं, लेकिन इस आम चुनाव को जीतने और लगातार तीसरी बार सत्ता हासिल करने के लिए कुछ खास तैयारी की जा रही है। हिंदी पट्टी के तीन राज्यों में ‘मोदी गारंटी’ के जादुई असर को देखते हुए भाजपा ने लोकसभा चुनाव में भी इसको अपना सबसे बड़ा हथियार बनाने का फैसला किया है। विपक्षी दलों द्वारा उठाये जानेवाले तमाम मुद्दों की काट के लिए भाजपा ने ‘मोदी गारंटी’ के स्वरूप को विस्तार देने की रणनीति तैयार की है, जिसके केंद्र में फर्स्ट टाइम वोट देने वाले रहेंगे। भाजपा का मानना है कि युवा मतदाताओं को साधने के लिए उनके जैसी सोच जरूरी है। पीएम मोदी ने हाल की अपनी वाराणसी और सूरत यात्रा के दौरान इसका संकेत भी दे दिया। इसके अलावा भाजपा ने गरीबों, महिलाओं और ओबीसी वर्ग के लिए कुछ ऐसी ठोस योजनाएं लेकर आनेवाली है, जिनकी मदद से उनका समर्थन हासिल किया जा सकेगा। भाजपा की तैयारी को देख कर ऐसा लगने लगा है कि इस बार भाजपा 2019 में 303 सीटें जीतने का रिकॉर्ड तोड़ सकती है। क्या है भाजपा की पूरी योजना और क्या हो सकता है इसका असर, बता रहे हैं आजाद सिपाही के विशेष संवाददाता राकेश सिंह।
दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र अब चुनावी महायज्ञ से कुछ ही कदम की दूरी पर है। हर राजनीतिक दल अपने-अपने हिसाब से इसकी तैयारी में जुट गया है। पिछले दो चुनावों में शानदार जीत हासिल करनेवाली दुनिया की सबसे बड़ी राजनीतिक पार्टी, यानी भारतीय जनता पार्टी अपने सबसे लोकप्रिय नेता नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में लगातार तीसरी बार सत्ता हासिल करने की कोशिश में जुट गयी है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वाराणसी और सूरत की अपनी दो दिवसीय यात्रा के साथ ही लोकसभा चुनाव की तैयारियों का एलान कर दिया है। 2014 और 2019 में भी लोकसभा चुनाव की तैयारियों का श्री गणेश भी उन्होंने बाबा विश्वनाथ की धरती काशी से ही किया था। दोनों ही बार नये रिकॉर्ड के साथ केंद्र की सत्ता में पहुंचे नरेंद्र मोदी के लिए इस बार अपने ही रिकॉर्ड को तोड़ने की चुनौती होगी। वह अब तक हर बार पहले से ज्यादा बहुमत के साथ जीतते रहे हैं। ऐसे में इस बार यह देखने की बात होगी कि क्या वह अपनी पिछली सीटों की संख्या में कोई बढ़ोतरी कर पाते हैं या नहीं।
भाजपा ने 2024 में ‘मिशन 400’ का लक्ष्य तय किया है और इसके लिए खास रणनीति तैयार की है। अपने लक्ष्य तक पहुंचने के लिए प्रधानमंत्री और भाजपा ‘मोदी की गारंटी’ पर जोर दे रहे हैं। स्वयं प्रधानमंत्री अपने संबोधनों में लगातार बार-बार ‘मोदी की गारंटी’ का जिक्र कर रहे हैं। राजस्थान, मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ के चुनावों में भी लगातार इस शब्द समूह का उपयोग किया गया। जिस तरह भाजपा इसका बार-बार प्रचार कर रही है, लोकसभा चुनाव में भाजपा के चुनावी घोषणा पत्र में इसका उल्लेख किया जा सकता है। ‘मोदी की गारंटी’ के नाम से जनता से कुछ वादे किये जा सकते हैं। ये वादे ऐसे हो सकते हैं, जो भाजपा को जीत की गारंटी दे सकें। यानी ‘मोदी की गारंटी’ भाजपा के लिए ‘जीत की गारंटी’ बन कर उभरे, पार्टी इस बात की कोशिश करेगी।
इसी रणनीति के तहत पीएम मोदी ने अपने दौरे के दौरान युवाओं पर फोकस रखा। 2024 के चुनाव में करीब 12 करोड़ ऐसे वोटर होंगे, जो पहली बार मतदान करेंगे, यानी फर्स्ट टाइम वोटर। 2019 के चुनाव में भी युवा वोटरों ने बड़ी संख्या में भाजपा का समर्थन किया था। इसलिए भाजपा इस बार भी उन्हें साधने में पूरी ताकत लगायेगी। आनेवाले दिनों में 18 से 30 वर्ष की आयु वर्ग के मतदाताओं से संपर्क और समन्वय बढ़ाने के लिए भाजपा की तैयारी के तहत पीएम मोदी ने सूरत में युवाओं की सबसे बड़ी जरूरत, यानी रोजगार की जम कर बात की। पार्टी का मानना है कि युवा वर्ग के वोट बैंक में आधार बढ़ाने से ‘मिशन 400’ की राह को पूरा करना आसान होगा। पार्टी का मानना है कि इस आयु वर्ग के मतदाता बीते 10 सालों से मोदी सरकार के कार्यकाल को ही देख रहे हैं। पार्टी के नेताओं का मानना है कि मोदी सरकार की ओर से राष्ट्रवाद और विकास के मुद्दे से जुड़ी उपलब्धियों को इस वर्ग ने करीब से देखा है। ऐसे में इस वर्ग को ‘मोदी की गारंटी’ के नाम पर लोकसभा चुनाव के लिए साधना आसान है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पहले ही साफ कर चुके हैं कि गरीब, महिला, किसान और नौजवान ही उनके लिए जाति है। इसलिए पार्टी ने नौजवानों को साधने की योजना बनायी है।
पार्टी के युवा मोर्चा की ओर से एक ओर जहां नये मतदाताओं के साथ सेल्फी लेकर नमो एप पर अपलोड की जायेगी। वहीं, इस आयुवर्ग के मतदाताओं को विकसित भारत का एम्बेसडर भी बनाया जायेगा। महिला मोर्चा भी विभिन्न शिक्षण संस्थानों में इस आयु वर्ग की महिला डॉक्टर, इंजीनियर और शिक्षकों आदि को जोड़ने के लिए अभियान चलायेगा। सूत्रों के मुताबिक इस आयुवर्ग के मतदाताओं का पूरा डाटा पार्टी ने जुटाया है। आगामी दिनों में युवा मतदाताओं को साधने के लिए सम्मेलन और प्रतियोगिताएं भी कराने पर विचार चल रहा है। पार्टी के बूथ कार्यकर्ता लगातार इस वर्ग के बीच रह कर उन्हें पार्टी से जोड़ने का प्रयास करेंगे।
पीएम मोदी ने सूरत शहर में दुनिया के सबसे बड़े आॅफिस कांप्लेक्स का उद्घाटन किया। इस सूरत डायमंड बोर्स को 67 लाख वर्ग फुट में बना दुनिया का सबसे बड़ा कार्यालय कांप्लेक्स करार दिया जा रहा है। मोदी ने दावा किया कि इसके बनने के बाद सूरत में 1.5 लाख नयी नौकरियों का सृजन होगा। सूरत का हीरा बाजार अकेले अपने दम पर आठ लाख नौकरियां देता है। अब उसके रोजगार सृजन में बड़ी वृद्धि होने का अनुमान है। सूरत के हवाई अड्डे को अंतरराष्ट्रीय स्तर की उड़ानें प्रदान करने की सुविधा मिलने से भी यहां रोजगार में वृद्धि होने की संभावना है। अपने संबोधन में भी प्रधानमंत्री ने ‘मोदी की गारंटी’ शब्द समूह का इस्तेमाल किया। इस गारंटी में देश की जनता के लिए वैश्विक स्तर पर भारत की नयी पहचान बनाने के साथ-साथ रोजगार मिलने की गारंटी देने का संदेश भी शामिल है। मोदी की यह गारंटी युवाओं को आकर्षित करने वाली हो सकती है।
इस तरह पीएम मोदी के एक हाथ में विकास का मंत्र है, तो महिलाओं और ओबीसी वर्ग को लुभाने के लिए दूसरे हाथ से वह धर्म की माला भी जप रहे हैं। वाराणसी में जिस तरह नमो घाट और काशी के जीर्णोद्धार का उन्होंने प्रयास किया है, भाजपा को उसका लाभ अवश्य मिलेगा। काशी की धर्म परंपरा को तमिल की धर्म परंपरा से जोड़ने की कोशिश और देश के दोनों छोरों को सीधे रेल नेटवर्क से जोड़ने से भी एक नया संदेश जायेगा। एक महीने से भी कम समय के अंतर में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अयोध्या में 22 जनवरी को भगवान राम के मंदिर का भी उद्घाटन करेंगे। इसी महीने के अंदर में अयोध्या के हवाई अड्डे से उड़ानें शुरू हो जायेंगी। इसे अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के रूप में विकसित करने की योजना है। इससे भी उत्तरप्रदेश के विकास और धार्मिक पर्यटन को एक नयी ऊंचाई मिलने वाली है। पीएम मोदी की विकास और धर्म की यह राजनीति भाजपा को तीसरी बार भी सत्ता में ले आये, तो इस पर किसी को आश्चर्य नहीं होना चाहिए। इसे पूरी तरह ‘मोदी की गारंटी’ ही कहा जायेगा।