रांची: राजधानी में एक गिरोह ऐसा आया है, जो पलक झपकते ही किसी के एकाउंट को खाली कर देता है। ऐसी ही घटना बरियातू के नीरज कुमार के साथ घटी। अज्ञात साइबर अपराधियों ने नीरज कुमार के दो फर्जी चेक से लगभग साढ़े 14 लाख रुपये की निकासी कर ली। फर्जी चेक से पैसे की निकासी से संबंधित मामला कोतवाली थाना पुलिस में दर्ज किया गया है। नीरज कुमार ने पैसे निकासी के मामले में एसबीआइ मेन ब्रांच के बैंक अधिकारियों की संलिप्तता होने की आशंका जाहिर करते हुए प्राथमिकी दर्ज करायी है। नीरज कुमार ने बैंक के मुख्य शाखा प्रबंधक से भी लिखित शिकायत दी है।
क्या है पूरा मामला : नीरज कुमार ने कोतवाली थाना पुलिस को बताया है कि 29 जून, 2017 को उनके मोबाइल पर फोन कर बताया गया कि वह एसबीआइ से बोल रहे हैं। कहा गया कि चेक संख्या-314448 से दो लाख रुपये का चेक काटा गया है। नीरज के द्वारा चेक काटे जाने से इंकार करने पर बैंक अधिकारी ने कहा कि ठीक है तब इसे क्लियर नहीं करता हूं। नीरज ने जब अपना चेक देखा तो किसी के नाम से भी चेक नहीं काटा गया था। इसके बाद नीरज ने अपने करंट अकाउंट के स्टेटमेंट की जांच नेट बैंकिग के माध्यम से की तो पता चला कि दो लाख क्लियरेंस के लिए बैंक के द्वारा फोन किया गया, लेकिन 22 जून, 2017 को 6.30 लाख और 8 लाख निकासी के बाद भी कंफर्म करने के लिए कोई फोन नहीं किया गया। नीरज ने देखा कि उसके अकाउंट से फर्जी चेक के जरिये साढ़े 14 लाख रुपये निकाल लिये गये हैं। नीरज ने तुरंत अपने अकाउंट को लॉक करने की बात कही।
न एटीएम है और न ही नेट बैंकिंग सेवा : नीरज कुमार ने बताया कि उनके पास बैंक के खाते के अतिरिक्त न तो एटीएम है और न ही नेट बैंकिंग सेवा ट्रांसफर्ड करने का कोई साधन। ऐसे में इतनी बड़ी राशि का निकलना कहीं न कहीं बैंक अधिकारियों की संलिप्तता को दर्शाती है। उन्होंने कहा कि कैश निकासी 314449 से मनीष रंजन के नाम से 6.30 लाख और चेक संख्या 314450 से 8 लाख रुपये की निकासी की गयी।
बैंककर्मियों से पूछताछ : कोतवाली डीएसपी भोला प्रसाद ने बताया कि नीरज कुमार के आवेदन पर प्राथमिकी दर्ज कर ली गयी है। पुलिस पूरे मामले की छानबीन कर रही है। इस मामले में साइबर एक्सपर्ट लोगों से भी सलाह ली जायेगी।
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