रांची। बिहार विधानसभा चुनाव 2025 को लेकर झारखंड की सियासत में बड़ा मोड़ आ गया है। झारखंड सरकार में मंत्री और गिरिडीह विधायक सुदिव्य कुमार सोनू ने सोमवार को स्पष्ट किया कि झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) अब बिहार चुनाव से पूरी तरह हट रहा है। न तो पार्टी कोई उम्मीदवार उतारेगी और न ही महागठबंधन के लिए प्रचार करेगी।
सुदिव्य कुमार ने कांग्रेस और राष्ट्रीय जनता दल (राजद) पर गठबंधन धर्म के उल्लंघन का आरोप लगाते हुए कहा कि सीटों के बंटवारे को लेकर झामुमो को जानबूझकर भ्रमित किया गया। अंतिम समय तक कोई ठोस प्रस्ताव न आने से पार्टी को यह निर्णय लेना पड़ा।
उन्होंने याद दिलाया कि झारखंड में झामुमो ने गठबंधन धर्म निभाते हुए कई बार कांग्रेस और राजद को समर्थन दिया, सीटें छोड़ीं और सरकार में साझेदारी भी दी। इसके बावजूद बिहार चुनाव में झामुमो की उपेक्षा की गई, जिसे मंत्री ने “राजनीतिक विश्वासघात” करार दिया।
सुदिव्य कुमार ने कांग्रेस पर भी हमला बोलते हुए कहा कि इंडिया गठबंधन की प्रमुख पार्टी होने के बावजूद उसने मध्यस्थता की कोई कोशिश नहीं की, जिससे झामुमो की नाराजगी और बढ़ गई।
उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि इस निर्णय का असर झारखंड की राजनीति पर भी पड़ेगा और पार्टी जल्द अगली रणनीति की घोषणा करेगी। झामुमो के इस फैसले से बिहार महागठबंधन की रणनीति को गहरा झटका लगा है।