रांची। वामदलों के नेताओं ने आरोप लगाया है कि भाजपा और आरएसएस ने अन्य राज्यों की तरह झारखंड में भी धार्मिक उन्माद फैलाने की पूरी कोशिश की। मगर झारखंडी जनता और शासन-प्रशासन ने इसे नाकाम कर दिया। इसके लिए झारखंड की जनता धन्यवाद के पात्र है। इस मसले को लेकर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को सवर्दलीय बैठक बुलानी चाहिये। उक्त बातें मंगलवार को वामदल के नेताओं ने बैठक के बाद आयोजित प्रेस वार्ता में कही। भाकपा के राज्य सचिव महेंद्र पाठक, भाकपा (माले) के राज्य सचिव मनोज भक्त, माकपा के राज्य सचिव प्रकाश विप्लव, केडी सिंह और अजय सिंह ने कहा कि चैत्र रामनवमी के त्योहार पर आरएसएस और उसके संरक्षण में चलने वाले उत्पाती संगठनों ने राज्य में आपसी भाईचारे को कमजोर करने के लिए धार्मिक उन्माद और जहरीले अफवाह का सहारा लिया। सांप्रदायिक ध्रुवीकरण का जो प्रयास किया, उसे झारखंड के सजग नागरिकों ने ठुकरा दिया है। रामनवमी बीत जाने के बाद भी संतालपरगना प्रमंडल के साहिबगंज जिला मुख्यालय में उपद्रवियों द्वारा बार झ्र बार अशांति उत्पन्न कर सद्भाव को कमजोर करने का षड्यंत्र किया जा रहा है। वामदलों ने धनबाद जिले के निरसा, जमशेदपुर और साहिबगंज में हुए घटनाक्रम पर चिंता व्यक्त करते हुए राज्य सरकार से मांग किया कि इन घटनाओं की त्वरित जांच कर दोषियों को कड़ी सजा दिलायी जाये। राज्य के मुख्यमंत्री से अपील की है कि वे इन घटनाओं पर प्रशासनिक कदमों के साथ राजनीतिक रूप से भी आगे बढ़ें।

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