लाहौर। पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान के आवास में इकट्ठा आतंकियों की तलाशी की उनके लीगल सेल से अनुमति मिलने के बाद कभी भी तलाशी अभियान शुरू किया जा सकता है। इससे पहले लाहौर पुलिस को जमान पार्क स्थित इमरान के घर की गहन तलाशी लेने के लिए सर्च वारंट मिल गया है। पुलिस ने एक बयान में इसकी जानकारी दी है। पुलिस अधीक्षक की देखरेख में महिला अधिकारियों सहित एक टीम इमरान पर तलाशी अभियान चलाएगी।

उधर, पाकिस्तानी पंजाब के कार्यवाहक सूचना मंत्री आमिर मीर ने गुरुवार को कहा कि पुलिस टीम लाहौर में इमरान खान के जमान पार्क आवास पर उनकी अनुमति के बाद कैमरों के सामने आतंकियों को पकड़ने के लिए तलाशी अभियान चलाएगी। इससे पहले इमरान खान को 24 घंटे की डेडलाइन दी गई थी कि वह आतंकियों को सौंप दें।

इमरान ने कहा अंतिम गेंद तक लड़ेंगे
नौ मई को गिरफ्तारी के बाद हुई हिंसा के चलते उनके खिलाफ दायर तीन मामलों में पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान कहा कि देश में मौलिक अधिकार समाप्त हो गया है। उन्होंने इस अवसर पर पर कहा कि वो अंतिम गेंद तक लड़ेंगे। लाहौर आतंकवाद रोधी अदालत (एटीसी) ने इमरान खान को दो जून तक जमानत देते हुए जांच का हिस्सा बनने का निर्देश दिया। खान के खिलाफ दर्ज मामलों में से एक लाहौर में कोर कमांडर हाउस पर हमले से संबंधित है।

पाकिस्तान में 9 मई को हुई हिंसा के बाद सैन्य प्रतिष्ठानों पर हमला करने वालों की तलाशी अभियान के अंतर्गत पुलिस का आरोप है कि आतंकी इमरान खान के जमान पार्क आवास में छिपे हुए हैं। इसी वजह से पुलिस ने इमरान खान के घर को घेरा हुआ है। जमानत के बाद एटीसी अदालत कक्ष में पत्रकारों को संबोधित करते हुए खान ने कहा कि उन्होंने पिछले 35 वर्षों में सरकार द्वारा कभी भी इस तरह की कार्रवाई नहीं देखी। इमरान ने कहा कि ऐसा लगता है जैसे सभी मौलिक अधिकार समाप्त हो गए हैं, केवल अदालतें अब मानवाधिकारों की रक्षा कर रही हैं। खान ने आगे कहा कि जो भी हो वो आखिरी गेंद तक लड़ेंगे।

9 मई को आईएचसी परिसर में अर्धसैनिक बल पाकिस्तान रेंजर्स द्वारा इमरान खान की गिरफ्तारी से पाकिस्तान में अशांति फैल गई थी। पाकिस्तान के इतिहास में पहली बार, प्रदर्शनकारियों ने रावलपिंडी में सेना मुख्यालय (जीएचक्यू) पर धावा बोल दिया और लाहौर में एक कोर कमांडर के घर में आग लगा दी। उसके बाद सरकार ने इमरान पर हिंसा को बढ़ावा देने का आरोप लगाया। पुलिस ने हिंसक झड़पों में मरने वालों की संख्या 10 बताई है जबकि खान की पार्टी का दावा है कि सुरक्षाकर्मियों की गोलीबारी में उसके 40 कार्यकर्ताओं की जान चली गई।

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