रांची। झारखंड मुक्ति मोर्चा ने सुप्रीम कोर्ट के निर्णय के बहाने केंद्र सरकार पर तीखा हमला किया है। पार्टी के केंद्रीय महासचिव सुप्रियो भट्टाचार्य ने बुधवार को पार्टी कार्यालय में आयोजित प्रेस वार्ता में कहा कि इडी के गलत इस्तेमाल पर से सुप्रीम कोर्ट ने पर्दा उठा दिया है। सुप्रीम कोर्ट के फैसले से दूध का दूध और पानी का पानी सामने आ चुका है कि किस तरह केंद्र सरकार इडी सहित अन्य जांच एजेंसियों का अपने राजनीतिक फायदे और राजनीतिक दुश्मनी निभाने के लिए इस्तेमाल कर रही है। सुप्रीम कोर्ट के निर्देश के बाद यह भी साबित हो गया कि इडी का इस्तेमाल गैर भाजपाई सरकार को डिस्टर्ब कर विकास कार्य को बाधित करने के हथियार के रूप में इस्तेमाल किया गया। अब केंद्र सरकार को अपने किये पर आत्ममंथन करना चाहिए। सुप्रियो भट्टाचार्य ने कहा कि इलेक्टोरल बांड के जरिए वित्तीय वर्ष 2021-22 में देश के राष्ट्रीय एवं क्षेत्रीय दलों के खाते में 92 88.36 करोड़ रुपये आया। जिसमें से 55 प्रतिशत यानी 5271.975 करोड़ रुपये केवल भाजपा के खाते में आये। यह एक तरह से मनी लॉन्ड्रिंग का भी मामला बनता है। मगर इडी का ध्यान इस ओर कभी नहीं गया। सुप्रियो भट्टाचार्य ने कहा कि इडी का कैसे गलत इस्तेमाल हो रहा है, इसका जीता-जागता प्रमाण महाराष्ट्र है। जहां पर एनसीपी के एक विधायक पर इडी का छापा पड़ता है और तुरंत बाद महाराष्ट्र सरकार में शामिल होकर मंत्री बन जाता है। देश की जनता सारा कुछ देख और समझ रही है। समय पर इसका जवाब मिलेगा। श्री भट्टाचार्य ने भाजपा के नवनियुक्त प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी पर निशाना साधते हुए कहा कि मध्यप्रदेश के सीधी की घटना के विरोध में जब आदिवासी लोग भाजपा कार्यालय घेराव कर रहे थे, तो उन्होंने कहा कि ये लोग आदिवासी नहीं जमीन दलाल हैं। तो अब यह सवाल उठता है कि बाबूलाल मरांडी के अध्यक्ष बनने के बाद पूरे शहर में जितने पोस्टर लगे हैं, उनके स्वागत और सम्मान में, वे लोग कौन हैं, जिसे बाबूलाल को खंगालना चाहिए। भाजपा कार्यालय के घेराव के दिन आदिवासी संगठनों में वे लोग भी शामिल थे, जो कभी झारखंड विकास मोर्चा के साथ नेता हुआ करते थे। उन्होंने कहा कि आदिवासी संगठन के लोग महाराष्ट्र के सीधी की घटना के बाद भाजपा नेताओं से जवाब मांग रहे थे। आखिर बाबूलाल मरांडी, अर्जुन मुंडा, समीर उरांव ने इस घटना का विरोध क्यों नहीं किया। उन्होंने बाबूलाल और भाजपा को सलाह दी है कि अब उन्हें प्रदेश अध्यक्ष बना दिया गया है, इसलिए जल्द से जल्द किसी अनुभवी नेता को विधायक दल का नेता चुन कर नेता प्रतिपक्ष बना दिया जाये, क्योंकि अब तीन साल से अधिक हो चुके हैं।
इडी के गलत इस्तेमाल से सुप्रीम कोर्ट ने पर्दा उठा दिया है: सुप्रियो भट्टाचार्य
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