रांची। झारखंड मुक्ति मोर्चा के वरिष्ठ नेता सह केंद्रीय प्रवक्ता सुप्रियो भट्टाचार्य ने शुक्रवार को प्रेस कॉन्की। इस दौरान उन्होंने कहा कि देश के गृह मंत्री झारखंड दौरे पर आ रहे हैं। उनका स्वागत है, क्योंकि यह राज्य केंद्रीय एंजेंसियों की जांच के दायरे में है। लेकिन जांच एजेंसियों का जो शिकंजा है, वह टारगेटेड है।
भाजपा के खिलाफ जो लोग है, उनके खिलाफ ही इडी की कार्रवाई हो रही है। जो भाजपा के सगे और करीबी हैं, उनके खिलाफ पर्याप्त सबूत है। उन्हें समन पर समन जारी हो रहा है। उन्हें एब्सकांडर घोषित किया जा रहा है। ऐसा कर उनको रिलिफ दिया जा रहा है। उन्होंने तंज कसते हुए कहा कि झारखंड में इडी के स्पेशल डायरेक्टर भी हैं। वह यह तय करते हैं कि जांच एजेंसियों को किनके खिलाफ जाना है और जो जांच एजेंसियों के रडार पर हैं, उनको किन केंद्रीय मंत्रियों से मिलाना है। क्योंकि इडी वित्त मंत्रालय के अंदर आता है। उसकी मंत्री रांची आयी थीं। तब भी हम लोगों ने कहा था कि एक शख्स, जो अभी बेल पर हैं, उनसे चुनाव के वक्त उन्होंने मिलवाने का काम किया। ये स्पेशल डायरेक्टर हैं बाबूलाल मरांडी जी। इन्होंने अपने संरक्षण पर बेल पर चल रहे व्यक्ति को वित्त मंत्री से मिलाने का काम किया। नाम है विष्णु अग्रवाल। इधर जो इडी द्वारा फरार घोषित है, उसका नाम है कमलेश कुमार। उनके यहां छापे पड़े, कारतूस मिले। उनको भी स्पेशल डायरेक्टर बाबूलाल मरांडी ने वित्त मंत्री से मिलवाया।
अब शनिवार को होम मिनिस्टर आ रहे हैं। होम मिनिस्ट्री के तहत कई एजेंसियां है। जितने भाजपा के दागी नेता हैं, उनकी समय सूची क्या रहेगी अमित शाह से मिलने की। ये अगर स्पष्ट हो जाता तो आपको भी कवरेज का समय मिल जाता। क्योंकि कार्यकर्ताओं के द्वारा अब ये चुनाव जीतेंगे नहीं। इनको केवल लगता है घुसपैठिए। इनके पार्टी के अंदर जो घुसपैठिए हैं, इसमें इनके प्रदेश अध्यक्ष भी हैं। नेता प्रतिपक्ष हैं। ये मूल भाजपाई नहीं हैं। उनसे सबसे ज्यादा घुसपैठ की संभवना है। अब उनसे गृह मंत्री कैसे निबटेंगे। क्योंकि उनके नेता कह रहे हैं कि इस राज्य में घुसपैठिये हैं और बीएसएफ के जो भार प्राप्त मंत्री हैं, वह कल राजधानी में रहेंगे। तो ऐसे तमाम लोगों को एक लिस्ट बना कर हमको लगता है कि कल पेश होनी चाहिए। क्योंकि इतना सम्मान जब भ्रष्टाचारियों को वित्त मंत्री देती हैं, तो उनके सहयोगी मंत्री हैं, वह भी करेंगे। इन लोगों के लिए शायद आनेवाली 22 तारीख से जो बजट सत्र आ रहा है, उसमें कोई नया कानून आ सकता है। इकोनोॉमिक आॅफेंडर चाहे दूसरे भ्रष्टाचारी अगर भाजपा में है, तो उनको विशेष कानून के तहत छूट मिलने की संभावना है।