भोपाल। मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल के बालगृह बालिका में 12 बच्चियों ने जहर खाकर आत्महत्या करने की कोशिश की, किंतु अधिक तबीयत खराब होने पर उनका सच उजागर हो गया और तत्काल पुलिस उन्हें लेकर शासकीय जयप्रकाश चिकित्सालय पहुंची। जहां डॉक्टरों ने कड़ी मशक्कत के बाद सभी को जिंदा बचा लिया है लेकिन हालत अभी भी नाजुक बनी हुई है। इनमें सबसे अधिक बच्चियां भोपाल की हैं, फिर दूसरी सबसे अधिक विदिशा की रहने वाली किशोरियां हैं।

आधिकारिक सूत्रों के अनुसार चिकित्सकों द्वारा हॉस्पिटल में गहन चिकित्सा कक्ष में इलाज जारी है, फिलहाल इस संबंध में यह पता नहीं चल पा रहा है कि क्या कारण रहा है जो उन्होंने इस तरीके से आत्महत्या जैसा आत्मघाती कदम उठाया। यहां बड़ा सवाल ये भी है कि चाक-चौबंद सुरक्षा व्यवस्था के बीच बालगृह बालिका में जहां परिंदा भी पर नहीं मार सकता, ऐसे में उनके पास यह जहरीला पदार्थ जो उन्होंने पानी की बोतल में मिलाकर एक साथ लिया, वह उन तक पहुंचा कैसे? इन परस्थितियों में वहां के अंदर के स्टाफ पर भी कई सवाल खड़े हो गए हैं।

ऐसा लगता है कि कोई इसे बड़ा मुद्दा बनाकर मध्य प्रदेश की भाजपा सरकार को घेरना चाह रहा हो। वहीं, इसके अन्य मायने भी हो सकते हैं।

उल्लेखनीय है कि इससे पूर्व भी यहां पर 2021 में एक बालिका की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो चुकी है। जिसकी जांच अभी तक लंबित है।

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