पलामू। प्रतिबंधित उग्रवादी संगठन जेजेएमपी (झारखंड जन्म मुक्ति परिषद) के साथ पुलिस और सीआरपीएफ की दो बार मुठभेड़ हुई। हालांकि इस घटना में पुलिस को सफलता नहीं मिली। उग्रवादी अंधेरे और जंगल का फायदा उठाकर मौके से भाग निकले। मुठभेड़ में जेजेएमपी के सुप्रीमो पप्पू लोहार का दस्ता शामिल था।

इस अभियान में पलामू और लातेहार पुलिस ने संयुक्त रूप से कार्रवाई की। एसपी रीष्मा रमेशन ने शुक्रवार को घटना की पुष्टि की है। उन्होंने बताया कि शुक्रवार की तड़के 3.45 बजे पोलपोल में और इसके बाद बकोइया में दो बार जेजेएमपी उग्रवादियों के साथ मुठभेड़ हुई। इस दौरान कई राउंड गोलियां चली। उन्होंने बताया कि फायरिंग कितने राउंड हुई है इसका आंकड़ा अब तक सामने नहीं आया है, लेकिन पुलिस की जवाबी कार्रवाई में जेजे एमपी के उग्रवादी दस्ता मौके से भाग खड़ा हुआ। उन्होंने कहा कि जेजेएमपी उग्रवादियों के खिलाफ दोनों जिले की पुलिस संयुक्त रूप से अभी भी सर्च अभियान चला रही है।

इधर सहायक पुलिस अधीक्षक ऋषभ गर्ग ने बताया कि गुप्त सूचना मिलने के बाद पुलिस और सीआरपीएफ की अलग-अलग टीम ने रामगढ़ इलाके से जेजेएमपी उग्रवादियों के खिलाफ अभियान तेज किया। सतबरवा थाना क्षेत्र के पोलपोलल और बकोइया में पहुंचने के बाद दो बार उग्रवादियों के साथ मुठभेड़ हुई। हालांकि मुठभेड़ काफी देर तक नहीं चली। उग्रवादी अपने आप को कमजोर पाकर मौके से भाग निकले।

उन्होंने बताया कि मुठभेड़ में पलामू पुलिस की ओर से रामगढ़ और सतबरवा थाना पुलिस जबकि लातेहार की ओर से बरवाडीह और मनिका थाना पुलिस शामिल थी। इनके अलावा सीआरपीएफ की 214 एवं 11वीं बटालियन भी शामिल थी।

पांकी थाना क्षेत्र में पिछले दिनों आपसी भिड़ंत में जेजेएमपी के दो उग्रवादी मारे गए थे। इस घटना के बाद से जेजेएमपी उग्रवादी इलाके में खुद को स्थापित करने की फिराक में है। जेजेएमपी सुप्रीमो पप्पू लोहार को पुलिस ने टारगेट किया है। पप्पू लोहार के दस्ते को लेकर लगातार सूचना इकट्ठा कर पुलिस कार्यवाही कर रही है।

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