राजनीतिक दलों के साथ साथ निर्वाचन आयोग भी साल 2019 के लोकसभा चुनाव की तैयारियों में जुट चुका है. बिहार राज्य निर्वाचन आयोग के सहायक सचिव सोहन कुमार ठाकुर ने बताया कि भारत निर्वाचन आयोग द्वारा जारी अहर्ता तिथि 1 जनवरी 2018 के संदर्भ में संशोधन का कार्यक्रम के अंतर्गत 4 अक्टूबर 17 को सभी 243 विधानसभा में निर्वाचित सूची का प्रारूप प्रकाशित किया जा चुका है.

भारत निर्वाचन आयोग के द्वारा जारी अधिसूचना में प्रारूप प्रकाशन अवधि में दावे और आपत्ति प्राप्त करने की अंतिम तिथि 31 अक्टूबर से बढ़ाकर 30 नवंबर 2017 तक विस्तारित किया जा चुका है. साथ ही सभी मतदान केंद्रों के बीएलओ को यह निर्देश जारी किया है कि सभी निर्वाचकों का गृहवार सत्यापन अभियान विशेष तौर पर चलाया जाए. इसके लिए कई निर्देश जारी किए गए हैं:-
बीएलओ द्वारा मतदाताओं से प्रारूप सूची के सत्यापन हेतु नाम, पता, क्रम संख्या, संबंध का प्रकार, मोबाइल नंबर, मोबाइल का प्रकार, ईमेल ID आदि का संग्रहण किया जाएगा. इस क्रम में मृत या अस्थाई रूप से विस्थापित मतदाताओं के लिए प्रारूप 7 एवं शुद्धिकरण हेतु प्रारूप 8 का संग्रहण भी किया जाएगा. जिन मतदाताओं के नाम मतदाता सूची में अंकित नहीं किया गया है उनका नाम अंकित कराने के लिए जरूरी आंकड़े संग्रहीत कराए जाने का निर्देश आयोग द्वारा जारी किया गया है. गृहवार और परिवारवार प्रारूप निर्वाचन सूची के सत्यापन के क्रम में जो अभ्यर्थी 1 जनवरी 2019 तक 18 वर्ष की आयु प्राप्त कर लेंगे उनकी सूची जिसमें जन्मतिथि, लिंग, संबंधी का नाम, प्रकार, प्रारूप सूची के क्रम संख्या, मोबाइल संख्या, मोबाइल के प्रकार, ईमेल ID तथा छात्र है तो छात्र का पता पंजी में अंकित किया जाएगा.

अर्थात जो छात्र बाहर अस्थाई तौर पर रहकर पढ़ाई करते हैं, उनकी भी एक अलग सूची बनाने का निर्णय निर्वाचन आयोग द्वारा लिया गया है. जिन प्रवासियों के नाम प्रारूप सूची में अंकित नहीं है उनसे प्रारूप 6 (क) में आवेदन प्राप्त किए जाएंगे. इसके अतिरिक्त राज्य निर्वाचन आयोग ने मोबाइल ऐप के माध्यम से 5 विधानसभा क्षेत्रों में पायलट प्रोजेक्ट के रूप में इलेक्टोरल रोल मैनेजमेंट का काम भी कराया जाएगा. जिसमें मधुबनी के खजौली, दरभंगा के बेनीपुर, समस्तीपुर के उजियारपुर, पटना के मसौढ़ी और कैमूर भभुआ विधानसभा क्षेत्रों को पायलट प्रोजेक्ट के रूप में चयनित किया गया है. इस पायलट प्रोजेक्ट के तहत बीएलओ को अक्षांश और देशांतर के साथ साथ मतदान केंद्र भवन से मतदाता के घर के बीच यदि कोई प्राकृतिक बाधा हो तो उसे भी अंकित करना होगा. निर्वाचन आयोग मतदाताओं की सुविधा के लिए 2 किलोमीटर के अंदर मतदान केंद्र बनाए जाने के लिए हर संभव प्रयास कर रही है. मतदाता सूची का अंतिम प्रकाशन 10 जनवरी 2018 को ही किया जाएगा.

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