रांची। झारखंड हाइकोर्ट में मंगलवार को रांची में 10 जून, 2022 को हुई हिंसा मामले की एनआइए जांच को लेकर दायर जनहित याचिका की आंशिक सुनवाई हुई। याचिकाकर्ता की अधिवक्ता के आग्रह पर कोर्ट ने मामले की अगली सुनवाई 19 दिसंबर निर्धारित की है।
पिछली सुनवाई में कोर्ट ने याचिकाकर्ता से पूछा था कि वह कैसे इस केस को एनआइए को ट्रांसफर करने की मांग कर रहे हैं। क्या इसका कोई साक्ष्य है कि यह घटना शेड्यूल आॅफेंस के तहत आ रही है। एनआइए और राज्य सरकार ने कोर्ट को बताया था कि यह मामला शेड्यूल आॅफेंस के दायरे में नहीं आता है।
रांची हिंसा मामले में दायर पंकज कुमार यादव की जनहित याचिका में हैदराबाद के सांसद असदुद्दीन ओवैसी, सोशल डेमोक्रेटिक पार्टी आॅफ इंडिया के महासचिव यास्मीन फारूकी समेत रांची उपायुक्त, एसएसपी, मुख्य सचिव, एनआइए, इडी को प्रतिवादी बनाया गया है।
अदालत से मामले की एनआइए जांच करा कर झारखंड संपत्ति विनाश और क्षति निवारण विधेयक 2016 के अनुसार आरोपितों के घर को तोड़ने का आदेश देने का आग्रह किया गया है। याचिका में रांची की घटना को प्रायोजित बताते हुए एनआइए से जांच करके यह पता लगाने का आग्रह किया है कि किस संगठन ने फंडिंग कर घटना को अंजाम दिया।

Share.

Comments are closed.

Exit mobile version