मौसम से भी तेज बदलती थीं सरकारें, हमने झारखंड को दिया पांच साल का सीएम : मोदी
Browsing: विशेष
अब छोटा भाई-बड़ा भाई की कहानी खत्म
विकास संग तमाड़ में घूमे हेमंत, मां के दरबार में माथा भी टेका, कहा
बसिया के कोनबीर में बाबूलाल मरांडी ने लोहरमैन उरांव के लिए मांगे वोट
दीपेश कुमार
रांची। झारखंड में पिछड़े वर्ग को 27 फीसद आरक्षण देने की राजनीति राज्य गठन के बाद से ही शुरू हो गयी थी। सड़क से लेकर सदन तक इस मांग को लेकर आवाजें भी बुलंद होती रही हैं, लेकिन इसकी मांग तब कुछ खास तबके और राजनीतिक दल और उनमें भी खासकर आजसू तक ही सीमित थी। पर झारखंड विधानसभा चुनाव में आज यह मुद्दा हॉट केक बन गया है। चुनाव की घोषणा के साथ ही लगभग सभी विपक्षी दलों ने पिछड़े वर्ग को न सिर्फ साधना शुरू कर दिया, बल्कि इसे अपने चुनावी घोषणापत्र के प्रमुख एजेंडों में शामिल कर लिया। अब तो इस राजनीति में भाजपा और कांग्रेस जैसी राष्ट्रीय पार्टियों के साथ-साथ प्रमुख क्षेत्रीय दल भी शामिल हो चुके हैं।
हम बांटते हैं प्यार, बस एक बार बना दो हमारी सरकार
संथाल की जनता अंगड़ाई ले और झामुमो को नेस्तानाबूद करे
हजारीबाग में झाविमो की जनसभा में बोले बाबूलाल
रांची। बाहर से आये नेता, जिन्होंने कभी झारखंड को देखा नहीं, समझा नहीं, वो इसे संवारने की बात कर रहे…
जंग छोटी हो या बड़ी, जंग लड़ रहे हर व्यक्ति की ख्वाहिश यही होती है कि उसे फतह नसीब हो।…
चक्रधरपुर: झारखंड विधानसभा चुनाव के लिए चुनावी प्रचार चरम पर है। सोमवार को चक्रधरपुर में एक रैली को संबोधित करते…